सेना के हाथ बड़ी कामयाबी, पुलवामा मुठभेड़ में सेना ने किया तीन आतंकियों को ढेर, एक सैनिक भी शहीद
श्रीनगर: बीजेपी सरकार अपने तीन साल के कार्यकाल में पहली बार कश्मीर मुद्दे पर बातचीत के लिए तैयार हुई। बातचीत के पहले ही दिन सोमवार शाम दक्षिण कश्मीर के पुलवामा में सैनिकों और आतंकियों के बीच हुई मुठभेड़ में तीन आतंकी मारे गए। आतंकियों से टक्कर लेते हुए एक सैन्यकर्मी भी शहीद हो गया साथ ही दो जवान भी घायल हुए हैं। मारे गए आतंकियों में एक आतंकी जैश-ए-मुहम्मद के मुखिया मसूद अजहर का भतीजा रशीद तल्लाह बताया जा रहा है। इसके अलावा एक आतंकी पाकिस्तानी बताया जा रहा है जबकि दूसरा स्थानीय था।
पुलवामा और आस-पास के इलाकों में बंद कर दी गयी इन्टरनेट सेवा:
आतंकियों को घेरकर खड़े सेना के जवानों के बीच से आतंकियों को सुरक्षित निकालने के लिए पत्थारबजों ने जमकर सेना पर पत्थर बरसाए। इस वजह से पत्थारबजों और सेना के बीच हुई हिंसक झड़प में 5 युवक भी जख्मी हो गए। हालात की गंभीरता को देखते हुए पुलवामा और उसके आस-पास के इलाकों में इन्टरनेट सेवा बंद कर दी गयी है। घेराबंदी में फँसे आतंकियों के संख्या की पुष्टि अभी तक नहीं हो पायी है।
छः आतंकियों की सूचना पर चलाया गया तलाशी अभियान:
सूत्रों के अनुसार आतंकी वसीम, समीर टाइगर, आदिल हिजबी और लियाकत के अलावा दो अन्य विदेशी आतंकियों में जैश-ए-मुहम्मद के सरगना अजहर मसूद के तथाकथित भतीजे महमूद समेत छह आतंकियों के छिपे होने की सूचना पर तलाशी अभियान चलाया गया था। पुलवामा एसएसपी असलम चौधरी ने बताया कि शाम को हमें अपने तंत्र से पता चला कि अगलरकंडी गांव में तीन से चार आतंकी अपने एक संपर्क सूत्र से मिलने आए हैं। उसी समय हमारे विशेष अभियान दल के जवानों ने सेना की 44 आरआर(राष्ट्रीय राइफल्स) और सीआरपीएफ के जवानों के साथ मिलकर अभियान चलाया।
इलाज के दौरान हो गयी एक सैन्यकर्मी की मौत:
जैसे ही जवान आतंकियों के ठिकाने तक पहुँचे आतंकियों ने भागने के लिए उनपर गोलीबारी शुरू कर दी। जवानों ने भी जवाबी कार्यवाई में गोलीबारी की। इसी दौरान वहाँ कुछ शरारती तत्व इकठ्ठा हो गए और सेना के ऊपर पत्थरबाजी करने लगे। लेकिन सेना विचलित ना होकर कार्यवाई करती रही और तीन आतंकियों को ढेर कर दिया। इस दौरान तीन सैन्यकर्मी जख्मी हो गए, जिसमें से सेना की 44 आरआर से संबंधित जवान शाम सुंदर की इलाज के दौरान मौत हो गयी।