शरीर से जुड़े 2 भाई सोहना – मोहना की लगी नौकरी, मोहना इस तरह काम में मदद करेगा सोहना की
एक जिस्म दो जान: बचपन में मां-बाप ने ठुकराया, आज अपने पैरों पर खड़े होकर कर रहे जॉब
हम अक्सर अपनी परेशानियों को देख दुखी या मायूस हो जाते हैं। लेकिन आज हम आपको दो ऐसे भाइयों से मिलाने जा रहे हैं जो एक जिस्म दो जान होने के बावजूद जिंदगी की हर मुश्किलों को चीरते हुए आगे बढ़ रहे हैं। अमृतसर के रहने वाले दो भाई सोहणा और मोहणा का शरीर तो एक है लेकिन इनमें जान अलग है। इनके पैदा होती ही मां-बाप ने इन्हें छोड़ दिया था, लेकिन अब दोनों अपने पैरों पर खड़े हो चुके हैं।
शरीर से जुड़े भाइयों की लगी नौकरी
दरअसल सोहना की बिजली विभाग में सरकारी नौकरी लग गई है। इस जॉब में उसके शरीर से जुड़ा भाई मोहणा साथ देगा। सोमवार से सोहणा ने पंजाब स्टेट पावर कारपोरेशन लिमिटेड (पावरकाम) में काम शुरू कर दिया है। उसका ऑफिस डेंटल कालेज के नजदीक स्थित बिजलीघर में है। यहां वह रेगुलर टी मैट (मेंटेंनेस कर्मचारी) के रूप में काम कर रहा है। 11 दिसंबर को पावरकाम ने उसे नियुक्ति पत्र दिया था।
इतना होगा वेतन
पावरकाम के मुताबिक सोहणा को बीस हजार रुपये मासिक वेतन मिलेगा। सोहणा-मोहणा ने इसी साल जुलाई में इलेक्टि्रकल डिप्लोमा किया है। उन्होंने उन्होंने पावरकाम में जेई पद के लिए अप्लाइ किया था। पावरकाम इस बात को लेकर दुविधा में था कि दोनों में से किसे नौकरी दी जाए। दोनों के पास इलेक्टि्रकल डिप्लोमा और विद्युत विभाग से संबंधित कामकाज में दक्षता है। हालांकि अंत में सोहणा को नौकरी दी गई।
मुख्यमंत्री ने किया था नौकरी देने का वादा
पूर्व मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने दोनों भाइयों को नौकरी देने का ऐलान किया था। पावरकाम के चीफ मैनेजिंग डायरेक्टर वेणु प्रसाद ने मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी से इस बारे में बातचीत भी की थी। इस ऐलान के 5 माह बाद भाइयों को नौकरी मिल गई। सोहणा को स्पेशल केस के आधार पर नौकरी दी गई है। दो साल के बाद उसका प्रमोशन भी हो जाएगा।
पैदा होते ही मां-बाप ने ठुकराया
सोहणा-मोहणा 14 जून, 2003 को दिल्ली के सुचेता कृपलानी अस्पताल में पैदा हुए थे। हालांकि मां कामिनी और पिता सुरजीत कुमार ने दोनों को घर ले जाने से मना कर दिया था। फिर अमृतसर स्थित पिंगलवाड़ा ने इन्हें पालने का जिम्मा लिया था। वहीं बीबी इंद्रजीत कौर ने दोनों का नामकरण किया।
डाक्टरों ने तब कहा था कि दोनों ज्यादा समय तक जीवित नहीं रह पाएंगे। हालांकि जिंदगी की सभी कठिनाइयों को हराते हुए सोहणा-मोहणा इस साल बालिग हुए हैं।
दो लाख में एक ऐसा केस होता है
सोहणा और मोहणा छाती के नीचे से एक-दूसरे से जुड़े हुए हैं। उनके सिर, छाती, दिल, फेफड़े और रीढ़ अलग-अलग हैं। वहीं किडनी, लीवर और ब्लैडर सहित शरीर के बाकी अंग एक इंसान जैसे हैं। दोनों के अलग-अलग आधार कार्ड बने हैं। रोजमर्रा के कामकाज दोनों साथ मिलकर ही करते हैं। डाक्टरों के मुताबिक ऐसे केस दो लाख में एक होता है।
ऑफिस आने-जाने की व्यवस्था भी होगी
शनिवार जब सोहणा-मोहणा ने डिप्टी कमिश्नर गुरप्रीत सिंह खैहरा से मुलाकात की तो दोनों ने कार्यालय आने-जाने की व्यवस्था मांग की। इस पर डिप्टी कमिश्नर ने पावरकाम के सीएमडी वेणु प्रसाद से बात की। उन्होंने आश्र्वासन दिया कि भाइयों के आने-जाने की व्यवस्था हो जाएगी।