मुनीम थे पराग अग्रवाल के दादा, पोते ने CEO बनने के लिए किया अजमेर से अमेरिका तक का सफर
एक साधारण मुनीम का पोता कैसे बना ट्विटर का CEO, पढ़ें पराग अग्रवाल का अजमेर से अमेरिका का सफर
पराग अग्रवाल (Parag Agrawal) इस समय की युवाओं के लिए प्रेरणा स्त्रोत बने हुए हैं। वे भी पराग की तरह एक दिन सफलता का स्वाद चखना चाहते हैं। गौरतलब है कि सोमवार को पराग ट्विटर के नए सीईओ बन गए। पहले वह कंपनी ने सीटीओ (मुख्य प्रौद्योगिकी अधिकारी) के पद कार्यरत थे। लेकिन जब ट्विटर के सह-संस्थापक और पूर्व सीईओ जैक डोर्सी (Jack Dorsey) ने इस्तीफा दिया तो पराग के बेहतरीन प्रदर्शन को ध्यान में रखते हुए उन्हें कंपनी का नया सीईओ बना दिया।
संघर्षों से भरा रहा पराग का सफर
ट्विटर का नया सीईओ बनते ही सोशल मीडिया पर पराग अग्रवाल छा गए। लोग उन्हें बधाई संदेश देने लगे। कई लोग उनकी पर्सनल लाइफ में भी बड़ी दिलचस्पी ले रहे हैं। खासकर लोग ये जानना चाहते हैं कि पराग आखिर इतनी बड़ी पोस्ट पर पहुंचे कैसे? उनका बचपन और शुरुआती करियर कैसा रहा। दरअसल पराग आज जिस मुकाम पर हैं वहाँ तक पहुँचने के लिए उन्होंने बहुत संघर्ष किया।
किराए के मकान में लंबे समय तक रहे
पराग का जन्म 1984 में अजमेर के जवाहरलाल नेहरू अस्पताल (JLN) में हुआ था। उनका परिवार मूल रूप से राजस्थान के अजमेर का रहने वाला है। उनके माता-पिता और दादा-दादी धानमंडी और खजाना गली में किराए के एक छोटे से मकान में रहते थे। उन्होंने इस मकान में काफी लंबा समय गुजारा है। फिर पराग के पिता रामगोपाल अग्रवाल की मुंबई में जॉब लगने पर वे वहाँ शिफ्ट हो गए। उनके पिता परमाणु ऊर्जा क्षेत्र में कार्यरत थे। वह वहां बड़े पदों पर काम करते थे। वहीं पराग की मां एक रिटायर्ड स्कूल टीचर हैं।
पढ़ाई के दौरान की बड़ी कंपनियों में इंटर्नशिप
पराग की स्कूल और कॉलेज की पढ़ाई मुंबई से ही हुई है। वह एटॉमिक एनर्जी सेंट्रल स्कूल से पढ़े हैं। वहीं वे आईआईटी बॉम्बे (IIT Bombay) के स्टूडेंट भी रह चुके हैं। बाद में वे अमेरिका चले गए जहां उन्होंने स्टेनफोर्ड यूनिवर्सिटी से कम्प्यूटर साइंस में डॉक्टरेट किया। वहीं वे मैसाचुसेट्स इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी से पीएचडी भी कर चुके हैं। स्टैंडफोर्ड यूनिवर्सिटी में पढ़ाई के दौरान उन्होंने माइक्रोसॉफ्ट, याहू और एटीएंडटी जैसी बड़ी कंपनियों में इंटर्नशिप भी की।
दस साल पहले ज्वाइन किया था ट्विटर
पराग 2005 में अमेरिका शिफ्ट हो गए थे। वहीं 2011 में स्टैनफोर्ड विश्वविद्यालय में पीएचडी की पढ़ाई करते हुए उन्होंने ट्विटर ज्वाइन किया था। ट्विटर का नया सीईओ बनने से पूर्व वे कंपनी के चीफ टेक्नोलॉजी ऑफिसर थे। उन्हें CTO की पोस्ट 2017 में मिली थी।
दादा थे मुनीम
पराग के परिवार ने अपने जीवन में बहुत संघर्ष किया है। उनके दादा रामचंद्र अग्रवाल एक समय मुनीम हुआ करते थे। वे अपने परिवार के साथ किराए के मकान में एक मिडिल क्लास परिवार की तरह की सालों रहे। हालांकि बाद में पराग के पिता ने जॉब कर अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा दी। पराग ने भी इस अवसर को हाथ से जाने नहीं दिया और अपने करियर के टॉप में पहुँचकर माता-पिता का नाम रोशन किया।
अमेरिका में रहते हैं माता-पिता
पराग के माता-पिता वर्तमान में बेटे के साथ अमेरिका में रहते हैं। खबरों की माने तो वे 4 दिसंबर को अजमेर आएंगे। यहाँ उनका ग्रैंड वेलकम किया जाएगा। दरअसल जब से पराग ट्विटर के नए सीईओ बने हैं, तब से राजस्थान के इस लाल की कामयाबी पर अजमेर में चारों ओर उल्लास छाया हुआ है।