भीड़ का हिस्सा बनकर शूटिंग देखने पहुंचे थे जैकी श्रॉफ, पड़ी सुभाष घई की नज़र और बन गए एक्टर
हिंदी सिनेमा के मशहूर अभिनेता जैकी श्रॉफ अपनी फिल्मों और अदाकारी के साथ ही अपनी निजी ज़िंदगी और अपने बयानों के कारण भी छाए रहते हैं. आए दिन फ़िल्मी सितारें साक्षात्कार का हिस्सा बनते रहते हैं और वे अपने जीवन से जुड़े कुछ ख़ास अनुभव साझा करते रहते हैं. ऐसे में हाल ही में जैकी ने प्रासंगिक बने रहने का मंत्र बताया है.
जैकी श्रॉफ ने यह बताया है कि आखिर कैसे प्रासंगिक बने रहने का उनका मंत्र बहुत ही सरल है. ख़ुलासा करते हुए ‘जग्गू दादा’ ने कहा कि इसके लिए आपको अपने दिमाग को खुला रखने की आवश्यकता है. बकौल जैकी श्रॉफ, “प्रासंगिक बने रहने का मेरा मंत्र काफी सरल है, आपको सिर्फ अपना दिमाग खुला रखना है और अवसर आएंगे. हालांकि मैंने कई तरह की भूमिकाएं की हैं, लेकिन इस बार मैं थोड़ी अलग भूमिका निभाना चाहता हूं.”
आगे जैकी ने अभिनेता सलमान खान और फिल्म ‘राधे’ के बार में भी बात की. उन्होंने कहा कि “राधे के साथ, मुझे ऐसा करने के लिए जगह और एक किरदार मिला है. लोगों को हंसाने का अवसर मिलने से मुझे इस तरह की और भूमिकाएं करने के लिए प्रोत्साहन मिलेगा.” वहीं सलमान के साथ अपने रिश्ते पर अभिनेता का कहना रहा कि वे सलमान खान को सालों से जानते हैं.
जैकी श्रॉफ ने कहा कि, “मैं इंडस्ट्री में सलमान को उनके शुरूआती दिनों से जानता हूं और उनके साथ काम करना हमेशा खुशी की बात होती है.” आपको जानकारी के लिए बता दें कि फिल्म ‘राधे’ इस साल ही ईद के मौके पर रिलीज हुई थी. फिल्म में सलमान के साथ जैकी श्रॉफ ने भी काम किया था हालांकि फिल्म फ्लॉप रही थी. इससे पहले दोनों की जोड़ी को फिल्म ‘बंधन’ में भी साथ में देखा गया है. यह फिल्म साल 1998 में प्रदर्शित हुई थी.
बता दें कि जैकी श्रॉफ हिंदी सिनेमा से करीब 38 सालों से जुड़े हुए हैं. 1 फरवरी 1957 को उनका जन्म काकुभाई हरीभाई श्रॉफ एवं रीता श्रॉफ के घर मुंबई में हुआ था. जैकी श्रॉफ का असली नाम जयकिशन काकुभाई श्रॉफ है. फिल्मों में आने से पहले जैकी
मुंबई के मालाबार हिल के तीन बत्ती एरिया में रहते थे. नाम और पैसा कमाने के बाद उन्होंने यह जगह छोड़ दी थी.
जैकी श्रॉफ ने एक्टिंग से पहले मॉडलिंग भी की है. साल 1982 में वे देवआनंद की फिल्म ‘स्वामी दादा’ देखने गए थे इसी बीच भीड़ में देव आनंद की नजर उन पर पड़ी और देव साहब ने जैकी को अपने पास बुलाया. देव साहब ने जैकी को एक छोटा सा रोल करने के लिए कहा. इसके बाद जैकी के फ़िल्मी करियर की शुरुआत हो गई.
साल 1983 में सुभाष घई किसी नए चेहरे की तलाश में थे और उन्होंने अपनी फिल्म ‘हीरो’ के लिए जैकी को चुन लिया. फिल्म सुपरहिट रही और गाने भी. साथ ही जैकी का करियर भी चल पड़ा. सुभाष घई ही वो शख़्स थे जिन्होंने जयकिशन श्रॉफ को जैकी श्रॉफ नाम दिया था.
जैकी के निजी जीवन की बात करें तो उन्होंने साल 1987 में आयशा श्रॉफ से शादी की थी. दोनों का इससे पहले प्रेम प्रसंग भी चला था.
जैकी और आयशा दो बच्चों के माता-पिता बने. बेटी का नाम कृष्णा और बेटे का नाम टाइगर श्रॉफ हैं. पिता के नक्शेकदम पर चलते हुए टाइगर भी हिंदी सिनेमा में करियर बना रहे हैं.