शिवसेना ने भाजपा सरकार पर हमला बोलते हुए बताया मुगलों की सरकार!
शिवसेना ने अपने मुखपत्र सामने में भाजपा पर निशाना साधा. शिवसेना ने भारतीय जनता पार्टी को मुगलों की तरह काम करने वाला बताया और लेख में कहा गया कि बीजेपी अपनी हिंदुत्व के एजेंडे को भूल गई है.
यह लेख मुंबई नगर निगम चुनावों में गठबंधन टूटने के बाद आया है. इसमें कहा गया है कि जो भाजपा कभी हिंदुत्व और अयोध्या में भगवान राम का मंदिर बनाने के नाम पर सत्ता में आई थी वही भाजपा अब महाराष्ट्र से उसे ही निष्कासित करने में लगी हुई है. अपने मुखपत्र के जरिए शिवेसना ने महाराष्ट्र सरकार के उस आदेश की भी आलोचना की है जिसमें राज्य के मुख्यमंत्री ने किसी भी सरकारी आफिस, सरकार के किसी भी मंत्रालय में या स्कूल में भगवानों के चित्र न लगाने का आदेश जारी किया है. इस आदेश का शिवसेना के मंत्रियों ने खुलकर विरोध किया है.
लेख में छत्रपति शिवाजी का जिक्र करते हुए आगे लिखा गया, ‘छत्रपति ने कभी धर्म के साथ राजनीति नहीं की. उन्होंने हिंदु भगवानों को मुगलों से बचाने के लिए लड़ाई लड़ी, लेकिन आज की सरकार मुगलों की तरह बर्ताव कर रही है.’ इसमें पिछले दिनों पीएम मोदी द्वारा अरब सागर में शिवाजी मैमोरियल की आाधरशिला पर भी तंज कसते हुए इसको राजनीतिक फायदे के लिए उठाया गया कदम बताया है.
बीजेपी का पलटवार :
मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने गोरेगांव में आयोजित विजय संकल्प सभा को संबोधन में पलटवार करते हुए कहा की, छत्रपति शिवाजी महाराज का नाम सभा में लेना और सभा के बाद महाराज के नाम हफ्ता वसूलना जैसी दोहरी भूमिका शिवसेना अपनाती है, जबकि भाजपा छत्रपति शिवाजी महाराज के शासन प्रणाली से मार्गदर्शन लेते हुए पारदर्शी और प्रमाणिक शासन करना चाहती है.
कश्मीर का भी जिक्र :
लेख में कश्मीर का जिक्र करते हुए लिखा गया कि बीजेपी कश्मीरी पंडितों को उनका हक नहीं दिलवाना चाहती बल्कि हमेशा महबूबा मुफ्ती की ‘आरती उतारते’ रहना चाहती है. लेख में बीजेपी पर आरोप लगाया गया कि वह धर्म की रक्षा नहीं करना चाहती.
गौरतबल है कि मुंबई में होने वाले BMC के चुनाव में शिवसेना ने बीजेपी को छोड़ दूसरी पार्टियों से समझौता किया है. भाजपा शिवसेना के बीच इस चुनाव के लिए गठबंधन न होने की निराशा और शिवसेना का गुस्सा कई मौकों पर सामने आया है. एक गौर करने वाली बात यह भी है कि महाराष्ट्र में शिवसेना और भाजपा सत्ता में भागीदारी कर रही हैं, इसके बावजूद भी शिवसेना लगातार भाजपा पर हमले करती आ रही है.