जानिए क्यों मनाते हैं फादर्स डे? कब, कहां और किसने की थी इस दिन को मनाने की शुरूआत
अजय देवगन की फिल्म मैं ऐसा ही हूं में एक गाना था जिसके बोल कुछ इस तरह से थे। ‘चंदा ने पूछा तारों से, तारों ने पूछा हजारों से…सबसे प्यारा कौन है?? पापा मेरे पापा’…ये गाना लोगों के बीच काफी प्रचलित हुआ है। बता दें कि पिता एक ऐसा रिश्ता एक ऐसा शख्स है जो अपने बच्चों की खुशी के लिए हर कुछ कर गुजरता है। चाहे कितनी भी परेशानियां हो लेकिन एक पिता अपने बच्चे के सामने उस परेशानी को कभी जाहिर नहीं करता है। हर बच्चे का एक हीरो होता है जो उसकी तरह बनना चाहता है वो होते हैं उसके पिता।
वैसे तो पिता के प्यार, बलिदान के लिए उनका जितना धन्यवाद किया जाए वो कम है लेकिन लोगों ने एक ऐसा दिन बना दिया हैं, जिस दिन बच्चे अपने पिता को ये एहसास दिलाते हैं कि वो कितने खास हैं। जी हां कल यानि की 16 जून को फादर्स डे मनाया जा रहा है। अलग-अलग देशों में फादर्स डे अलग-अलग तरीकों से मनाया जाता है। बाजारों में भी इन दिनों फादर्स को लेकर के कई तरह के गिफ्टस, कार्डस मिल रहे हैं जिससे आप अपने पिता को ये एहसास दिला सकते हैं कि वो आपके लिए कितने स्पेशल हैं। बता दें कि ज्यादातर जगहों पर जून के तीसरे संडे को इस दिन को मनाया जाता है।
इस दिन से हुई थी शुरूआत
बता दें फादर्स डे पूरी दुनिया में सेलिब्रेट किया जाता है। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि इसे मनाने की शुरूआत सबसे पहले कब, कहां और क्यों हुई थी। अगर नहीं तो आज हम अपने इस लेख में फादर्स डे मनाने के इतिहास के बारे में बताएंगे। फादर्स डे सबसे पहले 19 जून 1910 को वाशिंगटन में मनाया गया था। लेकिन 1972 में इसे आधिकारिक मान्यता मिली। इतना ही नहीं इसके साथ ही इस दिन छुट्टी की भी घोषणा की गई।
क्यों मनाते हैं फादर्स डे
बता दें कि पूरे विश्व में ज्यादातर इस जून के तीसरे संडे को मनाया जाता है। सबसे पहले 5 जुलाई 1908 को वेस्ट वर्जीनिया के फेयरमोंट में फादर्स डे मनाया गया था। बात करें Grace Golden Clayton की तो वो अनाथ थी और उन्होंने ही इस दिन को खास महत्व दिलाने की शुरूआत की थी। वहीं इसको मनाने के पीछे की पहली वजह थी कि 6 दिसंबर 1907 को हुए एक खान(माइंस) में एक हादसे के चलते तकरीबन 210 लोगों की जान चली गई थी। और उन लोगों की ही याद में क्लेटॉन ने इस दिन को सेलिब्रेट करने का निश्चय लिया था। क्योंकि उस हादसे में ना जाने कितने ही बच्चों ने अपने पिता को खो दिया था।
वहीं इस दिन को मनाने के पीछे एक और कहानी है। 1909 में स्पोकाने के चर्च में मदर्स डे पर उपदेश दिया जा रहा था, जिसके बाद डोड को लगा कि जिस तरह से मदर्स के लिए एक स्पेशल दिन रखा गया है ठीक उसी तरह से फादर्स डे भी सेलिब्रेट किया जाना चाहिए। जिसके बाद ओल्ड सेन्टेनरी प्रेस्बिटेरियन चर्च के पादरी डॉक्टर कोनराड ब्लुह्म की मदद से इस विचार को स्पोकाने YMCA ले जाया गया। जहां पर स्पोकाने YMCA और अलायन्स मिनिस्ट्री ने इस विचार करने के बाद फादर्स डे मनाने पर अपनी सहमति दर्ज करा दी। और 1910 में पहली बार फादर्स डे मनाया गया।