श्मशान से सुनाई पड़ी बच्चे के रोने की आवाज, दंपत्ति ने जाकर देखा तो उड़ गए होश!
नई दिल्ली: अक्सर लोग श्मशान घाट को शापित जगह बताते हैं। वहाँ अकेले जाने से बच्चों को माना किया जाता है। श्मशान के पास रहने वाले लोगों ने कई बार कहा है कि श्मशान से किसी की आवाजें भी सुनाई देती हैं। हालांकि इस बात में कितनी सच्चाई है, इसके बारे में कुछ नहीं कहा जा सकता है। लेकिन आज हम आपको एक ऐसे ही मामले के बारे में बताने जा रहे हैं, जिसके बारे में जानकर आपके होश उड़ जायेंगे। new born baby found in cemetery.
दरअसल यह मामला मध्यप्रदेश के बड़वानी जिले का है। जिले में उस समय हडकंप मच गया जब पास के श्मशान से लगातार बच्चे के रोने की आवाजें सुनाई दे रही थी। कुछ बच्चे वहाँ पास में ही खेल रहे थे। बच्चे की आवाज सुनकर वह वहाँ से भाग गए। बच्चों ने इसकी सुचना गाँव के एक दंपत्ति को दी। दंपत्ति यह सुनकर श्मशान पहुँच गया।
दंपत्ति श्मशान पहुँचा तो वहाँ का नजारा देखकर उनके होश उड़ गए:
जब दंपत्ति श्मशान पहुँचा तो वहाँ का नजारा देखकर उनके होश उड़ गए। जी हाँ श्मशान में कोई भूत-प्रेत नहीं बल्कि एक नवजात बच्चे को गर्दन तक जमीन में गाड़ा गया था। नवजात का चेहरा बाहर था, उसे एक चादर से ढँक दिया गया था। दंपत्ति ने बच्चे को इस हालत में देखकर तुरंत उसे बाहर निकाला और इसकी सूचना नजदीकी थाने दी। पुलिस कर्मियों ने 10 दिन के इस नवजात बच्चे को स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती करा दिया।
दंपत्ति ने प्रशासन से बच्चे को सौंपने की लगायी गुहार:
नवजात बच्चे को चिकित्सा के लिए ओझर फिर जुलवानिया अस्पताल में भर्ती कराया गया। बच्चे की हालत नाजुक थी, इसलिए उसे आई.सी.यू. में भर्ती कराया गया। जिस दंपत्ति को वह नवजात बच्चा मिला था, उनकी तीन बेटियाँ ही हैं। इसलिए उन्होंने बच्चे को उन्हें सौपनें की बात कही। आदिवासी दंपत्ति बच्चे के साथ-साथ जिला अस्पताल गए थे। वहाँ वह इस आस में रातभर बैठे रहे कि बच्चा उन्हें सौंप दिया जायेगा।
प्रशासन ने उन्हें समझाया कि गोद लेने की एक क़ानूनी प्रक्रिया होती है। उसके बाद ही किसी बच्चे को गोद लिया जा सकता है। दंपत्ति को प्रशासन ने समझा-बुझाकर वापस घर भेज दिया। दूसरी तरफ ओझर पुलिस ने नवजात को इस तरह से लावारिस छोड़ने के मामले में अज्ञात के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है। पुलिस ने बताया कि बच्चे के संभावित माँ की तलाश की जाएगी।