शाहरुख के नशेड़ी बेटे पर शिवसेना हुई मेहरबान, आर्यन खान को 17 दिन तक जेल में रखना अवैध बताया
शिव सेना के मंत्रियों के दामाद का भी रहा है ड्रग कनेक्शन, खा चुके हैं 6 महीने की जेल की हवा
शिवसेना आज के समय की कांग्रेस बन चुकी है। जी हां शिवसेना का नाम ज़ेहन में जैसे ही आता है तो एक ही बात समझ आती है कि सत्ता और परिवार के लिए यह पार्टी कुछ भी कर सकती है। एक समय अपने-आपको हिंदुत्व का झंडाबरदार बताने वाली यह पार्टी आज सिर्फ़ भाजपा विरोध पर उतारू है, फ़िर इसके लिए उसके नेताओ को चाहें जिस स्तर तक जाना पड़े।
शिवसेना से जुड़े ताजा मामले की बात करें तो इसके एक नेता ने सुप्रीम कोर्ट से एनसीबी (NCB) के मामलों और शाहरुख खान के बेटे आर्यन के मौलिक अधिकारों के उल्लंघन की जांच कराने का आदेश देने का अनुरोध किया है। बता दें कि महाराष्ट्र में राज्य मंत्री दर्जा प्राप्त किशोर तिवारी ने इस बाबत संविधान के अनुच्छेद- 32 का हवाला देते हुए याचिका दायर की है।
तिवारी ने सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश एनवी रमना से इस मामले में हस्तक्षेप करने का आग्रह किया है। साथ ही साथ तिवारी ने कहा कि नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (NCB) दो साल से ‘दुर्भावनापूर्ण उद्देश्यों’ को लेकर ‘पक्षपातपूर्ण’ तरीके से फिल्मी हस्तियों को परेशान कर रही है।
एनसीबी का रही मौलिक अधिकारों का उल्लंघन…
बता दें कि संविधान के अनुच्छेद- 32 के तहत याचिका देते हुए, राज्यमंत्री का दर्जा प्राप्त किशोर तिवारी ने सीजेआई एनवी रमण से इस मामले में ‘सर्वोच्च प्राथमिकता’ के आधार पर हस्तक्षेप करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि, पिछले लगभग दो वर्षों से ‘दुर्भावनापूर्ण उद्देश्यों’ के साथ एनसीबी पक्षपात रवैया अपना रहा है और फिल्मी हस्तियों, मॉडलों व अन्य सेलिब्रिटी को परेशान कर रहा है।
इतना ही नहीं अनुच्छेद 32 के तहत, सुप्रीम कोर्ट और सीजेआई मौलिक अधिकारों के उल्लंघन से संबंधित हर मामले का संज्ञान लेने के लिए बाध्य हैं, जैसा कि संविधान के भाग तीन के तहत गारंटी दी गई है, जिसका एनसीबी उल्लंघन कर रहा है। उन्होंने कहा कि, विशेष एनडीपीएस कोर्ट (मुंबई) द्वारा आर्यन खान और अन्य आरोपियों की जमानत याचिका पर फैसला 20 अक्तूबर तक सार्वजनिक अवकाश का हवाला देते हुए टालने से आरोपी का बड़ा अपमान हुआ है।
आर्यन खान को अलोकतांत्रिक व अवैध रूप से जेल में 17 रातों के लिए रखा गया। यह संविधान में निहित जीवन और स्वतंत्रता के मौलिक अधिकार की पूरी तरह से अवहेलना है।
NCB चुनिंदा सेलेब्स को बना रही निशाना…
इतना ही नहीं तिवारी ने एनसीबी (NCB) और उसके अधिकारियों पर चुनिंदा बॉलीवुड सेलेब्स को निशाना बनाकर ‘बदला लेने’ का आरोप लगाया है। साथ ही एनसीबी (NCB) और उसके रीजनल डायरेक्टर समीर वानखेड़े की भूमिका की जांच की मांग की है। उन्होंने कहा कि, वानखेड़े की पत्नी फेमस मराठी एक्ट्रेस हैं। जो बॉलीवुड में बड़ा काम करने की कोशिश कर रही है और इसीलिए फिल्म इंडस्ट्री के केवल कुछ बड़े नामों, उनके परिवारों को ही एनसीबी (NCB) टारगेट कर जांच कर रही है।
एनसीबी की उपलब्धियां मुंबई पुलिस के सामने कुछ भी नहीं…
इसके अलावा बता दें कि शिवसेना नेता ने कहा कि सुशांत सिंह राजपूत की मौत के मामले की जांच के साथ, इस पूरी जांच को एक गलत दिशा में मोड़ दिया गया है। एनसीबी ने क्रूज पार्टी से जितना ड्रग्स बरामद किया है, वह मुंबई पुलिस की उपलब्धियों या डीआरआई के सामने एक ‘मजाक’ है। गौरतलब है कि पिछले महीने गुजरात के मुंद्रा बंदरगाह से 3000 किलोग्राम मादक पदार्थ जब्त किया गया था।
आख़िर में बात करें तो आज के समय में शिवसेना का कोई भी नेता हो। उसकी कथनी और करनी दोनो में विशेष फ़र्क देखने को मिल जाएगा। शिवसेना आज के समय मे कांग्रेस की भाषा बोलती नज़र आती है और सिर्फ़ भाजपा विरोध उसका एजेंडा बन चुका है। जो दिखती सी बात है। ऐसे में किसी नेता द्वारा ऐसी बातें कही जाना कोई बड़ी बात नहीं।
वैसे जांच एजेंसियों को स्वतंत्र रूप से अपना काम करने देना चाहिए, लेकिन लगातार शिवसेना द्वारा मुंबई में एनसीबी के कार्यों पर अंगुली उठाई जा रही और इसके पीछे सीधे सियासी लाभ बटोरने की कोशिश है और मुंबई में शिवसेना अपनी सत्ता बचाएं रखना चाहती है, जिसके लिए वह कुछ भी करने को उतावली।