नए कृषि क़ानून के विरोध में शुरू हुआ किसान आंदोलन शुरुआत से ही विवादों में रहा है। ऐसे में किसान नेताओं की नीति और नियत दोनो पर लगातार सवाल खड़ें होते रहें हैं। जी हां इसी कड़ी में बीते दिनों सिंघु बॉर्डर पर किसान आंदोलन के पास एक व्यक्ति की निर्मम हत्या करके टांग दिया गया, लेकिन फ़िर भी किसान नेता चुप्पी साधे हुए हैं। जिसके बाद अब इस आंदोलन पर संकट के बादल मंडराते नजऱ आ रहें हैं।
बता दें कि सिंघु बॉर्डर पर मारे गए युवक की पहचान तरन तारन निवासी लखबीर सिंह के रूप में हुई है और उसके परिवार ने न्यूज एजेंसी एएनआई (ANI) से बातचीत में कहा कि वो नशे का आदी था और उसे सिंघु बॉर्डर ले जाने के लिए लालच दिया गया था। वहीं दूसरी तरफ़ युवक की हत्या का मामला सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) पहुंच गया है। सुप्रीम कोर्ट के एडवोकेट शशांक शेखर झा ने अर्जी दाखिल करते हुए सिंघु बॉर्डर को खाली कराने की मांग की है।
साथ ही सुप्रीम कोर्ट से इस मामले की जल्द सुनवाई की अपील भी की गई है। गौरतलब है कि आंदोलन पर बैठे किसानों के मंच के पास एक युवक का शव मिला था। युवक की बड़ी ही बेरहमी से हत्या (Singhu Border murder) करने के बाद शव का एक हाथ काटकर बैरिकेड से लटका दिया गया था। इतना ही नहीं युवक के शव को 100 मीटर तक घसीटा भी गया था और उसके शरीर पर धारदार हथियार से हमले के निशान भी पाए गए थे।
वहीं बता दें कि लखबीर के ससुर ने शुक्रवार को बताया कि उसे वहां जाने का लालच दिया गया। इसकी जांच होनी चाहिए और उसे न्याय मिलना चाहिए। गौरतलब हो कि लखबीर सिंह एक मजदूर के रूप में काम करता था। उनकी बहन ने मीडिया को बताया कि, “उसने 50 रुपये लिए और कहा कि वह चबल में काम करने जा रहा है और 7 दिनों के बाद वापस आ जाएगा। मुझे लगा कि वह वहां काम करने गया है। वह ऐसा व्यक्ति नहीं था (गुरु ग्रंथ साहिब का अपमान करने के लिए)। दोषियों को सजा मिलनी चाहिए।”
“He took Rs 50 & said he was going for work in Chabal & will return after 7 days. I thought he went to work there. He was not such a person (to commit desecration of Guru Granth Sahib). The perpetrators must be punished,” Raj Kaur, sister of labourer Lakhbir Singh, said yesterday pic.twitter.com/fnm6pk3Dok
— ANI (@ANI) October 16, 2021
इसके अलावा चीमा कलां गांव में मृतक लखबीर सिंह के घर पर पहुंचे ASI कबाल सिंह ने बताया कि उनके परिवार में पत्नी और तीन बेटियां हैं जिनमें सबसे छोटी 8 साल की और सबसे बड़ी बेटी 12 साल की है। ASI कबाल सिंह ने बताया कि 5-6 साल पहले लखबीर सिंह को उसकी पत्नी ने छोड़ दिया था और वो अलग रहती हैं।
Punjab: Family members & relatives of Lakhbir Singh, who was killed at Singhu near Delhi-Haryana border, say he was an addict&lured to Singhu border
“He was lured in to going there. It should be probed& he must get justice,” his father-in-law said at his home in Taran Tarn y’day pic.twitter.com/1T1kZa0ZsI
— ANI (@ANI) October 16, 2021
वहीं आपको बता दें कि दिल्ली-हरियाणा की सीमा पर किसानों के कुंडली स्थित प्रदर्शन स्थल के नजदीक एक व्यक्ति की पीट-पीट कर हत्या कर दी गई और उसका हाथ काट दिया गया। उसके शरीर पर धारदार हथियार से हमले के करीब 10 जख्म बने थे और उसके शव को अवरोधक से बांधा गया था। इस घटना के लिए कथित रूप से निहंगों के एक समूह को जिम्मेदार ठहराया जा रहा है।
इस नृशंस हत्या के घंटों बाद सिखों की निहंग परंपरा के तहत नीले लिबास में एक व्यक्ति मीडिया के समक्ष आया और दावा किया कि उसने पीड़ित को पवित्र ग्रंथ की ‘बेअदबी’ करने की ‘सजा’ दी है। अन्य निहंगों ने दावा किया कि उसने पुलिस के समक्ष ‘आत्मसमर्पण’ कर दिया है, जबकि पुलिस का कहना है कि उक्त व्यक्ति को गिरफ्तार कर लिया गया है और उससे पूछताछ की जा रही है।
आख़िर में बता दें कि पुलिस के एक अधिकारी ने कहा कि, “कश्मीर सिंह के बेटे सरबजीत सिंह को गिरफ्तार कर लिया गया है जो पंजाब के गुरदासपुर जिले के विटवहा का रहने वाला है।” अधिकारी ने आगे कहा कि प्रारंभिक पूछताछ में सरबजीत ने दावा किया कि वह “पवित्र धार्मिक ग्रंथ की बेअदबी” बर्दाश्त नहीं कर सका। सरबजीत के “आत्मसमर्पण” से पहले निहंगों ने उसे सम्मानित करते हुए एक वस्त्र दिया और कहा कि उसने ऐसे व्यक्ति को सजा दी जिसने कथित तौर पर पवित्र ग्रंथ की बेअदबी की।