पाकिस्तान की बेटी का ससुराल लौटने पर भव्य स्वागत, ढाई साल करना पड़ा दूल्हे को इंतजार
पाकिस्तान और हिंदुस्तान के बीच आने जाने के साधन बंद होने का असर कई लोगों पर पड़ रहा है। ऐसे कई लोग हैं जो पाकिस्तान से हिंदुस्तान नहीं आ पा रहे हैं तो दूसरी तरफ ऐसे भी लोग हैं जो हिंदुस्तान से पाकिस्तान नहीं जा पा रहे हैं। जैसलमेर के एक युवक विक्रम सिंह की शादी 2019 में पाकिस्तान में हुई थी लेकिन उनकी पत्नी 3 साल बाद आज पहली बार अपने ससुराल आ पाई है।
दोनों देशों के बीच रिश्ते भले ही खट्टे हो लेकिन कई दशकों से पाकिस्तान और हिंदुस्तान के बीच युवक-युवतियों की शादी होती आ रही है। कहा तो यह भी जाता है कि सिंध और हिंद में रोटी और बेटी का रिश्ता है। ऐसी एक शादी 2019 में जैसलमेर जिले में रहने वाले विक्रम सिंह की हुई । विक्रम की शादी सिंध क्षेत्र के अमरकोट में रहने वाली एक युवती से हुई थी। लेकिन दोनों देशों के बीच खराब संबंधों के चलते वह अपने ससुराल आ नहीं पा रही थी।
लेकिन उसका इंतजार अब खत्म हो गया है ससुराल लौटने पर बहू का भव्य स्वागत किया गया उनका एक बेटा भी है। सभी दोनों के लौटने से खुश हैं।
विक्रम ने बताया कि जनवरी 2019 में शादी के बाद से वह लगातार पत्नी को घर लाने की कोशिश कर रहे थे। लेकिन कार्रवाई पूरी हो पाती इससे पहले ही बालाकोट एयर स्ट्राइक हो गई और उसकी पत्नी के पासपोर्ट को ब्लैक लिस्ट कर दिया गया। न केवल इतना बल्कि हिंदुस्तान और पाकिस्तान के बीच चलने वाली ट्रेन थार एक्सप्रेस को भी बंद कर दिया गया था। उन्होंने 3 महीने तक लगातार कोशिश की, बाद में भी कई बार ट्राय किया लेकिन पत्नी को लाने में सफल नहीं हो पाए।
कृषि राज्य मत्री ने की मदद
विक्रम ने कहा कि उन्हें क्षेत्रीय सांसद और केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी की मदद के बाद लगा कि शायद उनकी पत्नी अब लौट आएगी। इसके लिए उन्हें लंबी लड़ाई लड़नी पड़ी। बीजेपी जिला महामंत्री स्वरूप सिंह खारा ने कहा कि आज हमारी मेहनत रंग लाई और विक्रम और उनकी पत्नी का राजस्थानी अंदाज में भव्य स्वागत किया गया।
दो वजह जिस कारण दिक्कत आ रही
पाकिस्तान और हिंदुस्तान में रहने वाले लोगों के आपसी संबंध भले ही हो लेकिन दोनों देशों के बीच राजयनिक संबंध बिल्कुल भी अच्छे नहीं हैं और अब तो दोनों देशों के बीच आने जाने वाली ट्रेनें और फ्लाइट भी बंद है यहां तक की दोनों देश एक दूसरे का एयर स्पेस भी इस्तेमाल नहीं करते। तो दूसरी तरफ सुरक्षा कारणों के मद्देनजर आने जाने वाले लोगों पर खास नज़र रखी जाती है, और इसीलिए पासपोर्ट और वीजा की प्रक्रिया भी इतनी आसान नहीं है। बालाकोट एयर स्ट्राइक के बाद दोनों देशों के बीच व्यापार संबंध भी ठप हैं।