पत्नी ने ऐसे किया प्रताड़ित की पति का घट गया 21 किलो वज़न। मामला पहुंचा अदालत
अमूमन जब हम एक पति-पत्नी के बीच रिश्ते की बात करते हैं। तो हम सभी के मन मे सिर्फ़ एक ही ख़्याल आता है कि दोनों के बीच अथाह प्यार-मोहब्बत होगी, लेकिन हरियाणा (Haryana) के हिसार (Hisar) में पत्नी द्वारा पति को प्रताड़ित करने का एक अजीबोगरीब मामला सामने आया है। जी हां इतना ही नहीं पत्नी ने पति का ऐसा हाल किया कि उसका 21 किलो वजन घट गया। अब आप सोच रहे होंगे कि आख़िर पत्नी ने ऐसा क्या कर दिया कि पति का 21 किलो वज़न घट गया। तो आइए जानते हैं पूरी कहानी…
बता दें कि हिसार में पत्नी की क्रूरता का ये मामला कोर्ट तक पहुंच गया। जी हां जिसके बाद इस मामले में हिसार फैमिली कोर्ट ने तलाक का फैसला सुनाया और उसके बाद महिला ने हाई कोर्ट में इस फैसले को चुनौती दी और अब पंजाब-हरियाणा हाई कोर्ट ने तलाक के आदेश को चुनौती देने वाली महिला की याचिका को खारिज कर फैमिली कोर्ट के फैसले पर मुहर लगा दी है।
गौरतलब हो कि पंजाब और हरियाणा कोर्ट ने फैमिली कोर्ट द्वारा पत्नी की मानसिक प्रताड़ना के चलते पति को तलाक की अनुमति दिए जाने के फैसले को बरकरार रखा है। बता दें कि 50 प्रतिशत से ज्यादा सुनने में अक्षम एक व्यक्ति ने हिसार फैमिली कोर्ट में दावा किया था कि पत्नी के मानसिक उत्पीड़न के चलते उसका वजन 21 किग्रा तक कम हो गया था। जिसके बाद यह फ़ैसला लिया गया है।
फैमिली कोर्ट के फैसले पर मुहर…
बता दें कि पीड़ित शख्स की पत्नी ने फैमिली कोर्ट के फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में अपील की थी। सुनवाई के दौरान हाईकोर्ट ने पाया कि पत्नी ने पति के खिलाफ जो आपराधिक मुकदमें और शिकायतें दर्ज की थी वह सभी गलत हैं। उच्च न्यायालय ने इसे मानसिक उत्पीड़न माना और अपील को सुनने से इनकार कर दिया।
जस्टिस रितु बाहरी और जस्टिस अर्चना पुरी की डिवीजन बेंच ने हिसार की महिला की फैमिली कोर्ट के 27 अगस्त 2019 के उस फैसले के खिलाफ अपील को खारिज कर दिया जिसमें महिला ने फैमिली कोर्ट द्वारा उसके पति की अपील पर तलाक को मंजूरी दे दी थी।
बता दें कि युगल ने 2012 में शादी की थी। शख्स बैंक में काम करता है जबकि महिला हिसार में ही एक प्राइवेट स्कूल में पढ़ाती है। शादी के बाद दोनों की एक बेटी है जो अभी पिता के साथ रहती है।
यह है पूरा मामला…
पीड़ित शख्स के आरोपों के मुताबिक उसकी पत्नी गुस्सैल स्वभाव की है और बात-बात पर लड़ती रहती है और उसने कभी भी परिवार के साथ खुद को मिलाने की कोशिश नहीं की। शख्स के मुताबिक उसकी पत्नी छोटी-छोटी बातों पर बड़ा हंगामा करती थी जिसके चलते उसे अपने परिवार वालों और रिश्तेदारों के सामने शर्मिंदा होना पड़ता था लेकिन वह इस उम्मीद में चुप रहा कि आगे चलकर शायद उसका व्यवहार बदल जाएगा।
वहीं पत्नी पर मानसिक उत्पीड़न का आरोप लगाते हुए शख्स ने दावा किया कि शादी के समय उसका वजन 74 किलोग्राम था जो उत्पीड़न के चलते बाद में घटकर 53 किलोग्राम हो गया। इसके बाद पति के आरोपों से इनकार करते हुए महिला ने कोर्ट को बताया कि उसने अपनी सारी वैवाहिक जिम्मेदारियां प्रेम और सम्मान के साथ निभाई हैं। महिला ने यह भी दावा किया कि शादी के छह महीने बाद उसका पति और उसके परिवार के लोग उसे सताने लगे और दहेज की भी मांग करने लगे थे।
महिला का दावा कोर्ट में निकला झूठा…
बता दें कि सुनवाई के दौरान कोर्ट ने पाया कि महिला ने 2016 में ही घर छोड़ दिया था और अपनी बेटी को भी ससुराल से अपने साथ नहीं ले गई थी। यही नहीं महिला ने बेटी से कभी मिलने की भी कोशिश नहीं की। कोर्ट को यह भी पता चला कि पति के परिवार वालों ने कभी महिला से दहेज की मांग नहीं की बल्कि शादी के बाद उसकी उच्च शिक्षा के लिए खर्च भी दिया था।
इतना ही नहीं कोर्ट ने यह भी पाया कि महिला ने पति और उसके परिवार वालों के खिलाफ झूठे आपराधिक मामले दर्ज कराए। ऐसे में कोर्ट ने महिला की अपील को खारिज करते हुए अपनी टिप्पणी में लिखा कि, “यह ध्यान में रखते हुए कि महिला शिक्षित है और उसे उन आपराधिक शिकायतों के परिणामों के बारे में पता था जो उसने पति और उसके परिवार वालों के खिलाफ 2013 और 2019 में दर्ज कराई थीं। यही नहीं पत्नी के 2016 में घर छोड़ देने के बाद शख्स ने अकेले अपनी तीन साल की बेटी का पालन पोषण किया जो कि मानसिक उत्पीड़न है।”