मौत से पहले जब राजकुमार ने डायरेक्टर से कहा अभी पहना लो हार, जाएंगे तो पता नहीं चलेगा
राजकुमार खुद चाहते थे कि उनकी अंतिम यात्रा में कोई भी फिल्मी दुनिया का व्यक्ति शामिल न हो
दिग्गज फ़िल्म अभिनेता और बॉलीवुड के ‘राजकुमार’ यानी कि कुलभूषण पंडित से जुड़ें ढेरों किस्से हैं। जी हां जहां से उनके बॉलीवुड में अनोखे रुतबे का अंदाजा लगाया जा सकता है। बता दें कि राजकुमार ने जब इस दुनिया को अलविदा कहा था उस वक्त फिल्म इंडस्ट्री का एक भी शख्स उनकी अंतिम यात्रा में शामिल नहीं हो पाया था।
इसकी वजह ये थी कि राजकुमार खुद चाहते थे कि उनकी अंतिम यात्रा में कोई भी फिल्मी दुनिया का व्यक्ति शामिल न हो। गौरतलब हो कि इससे जुड़ा भी एक किस्सा है। जिसे फिल्म डायरेक्टर मेहुल कुमार ने बताया था।
बता दें कि फिल्म डायरेक्टर मेहुल कुमार ने एक पुराने इंटरव्यू में राजकुमार को याद करते हुए कहा था कि, “राजकुमार साहब से जुड़ा एक किस्सा है जो कि उनकी रियल लाइफ से ताल्लुक रखता है। फिल्म ‘मरते दम तक’ की शूटिंग के दौरान का ये किस्सा था, जब शूटिंग के दौरान लास्ट सीन शूट किया जा रहा था, उसमें शमशान यात्रा निकल रही थी, हालांकि जानबूझकर उन्होंने डिक्लेयर कराया था कि मैं मर गया हूं।”
इस क़िस्से को बताते हुए उन्होंने आगे बताया था कि, “जब वो शमशान यात्रा निकली तो गाड़ी में राज साहब को लिटाया गया। तो उन्हें फूलों के हार मैंने अपने हाथों से पहनाए। तब उन्होंने कहा कि ‘जानी अभी पहना लो हार, जब जाएंगे आपको पता भी नहीं चलेगा कि कब गए।’ उस वक्त तो मैं समझ नहीं पाया कि राज जी आप ऐसा क्यों बोल रहे हो। ऊपर वाला करे कि आपकी उम्र 100 साल की हो।”
इतना ही नहीं, मेहुल कुमार ने आगे बताया था कि, “मुझे अच्छे से याद है हम ‘मृत्युदाता’ की शूटिंग कर रहे थे, मेहबूब स्टूडियो में सेट लगा था और वहां पर टेलीफोन आया। तब वहां अमिताभ बच्चन और डिंपल कपाड़िया भी मौजूद थे। खबर आई कि राज साहब का देहांत हो गया है। तभी मुझे वो दिन याद आया कि राज साहब ने उस दिन बोला था मेरी शमशान यात्रा में कोई फिल्मी बंदा नहीं होगा। कोई फिल्मी माहौल नहीं होगा।”
आख़िर में बता दें, राजकुमार के देहांत की खबर पब्लिक में तब सामने आई थी जब उनका अंतिम संस्कार भी हो गया था। राजकुमार जब बेहद बीमार थे तब उन्होंने अपने बेटे को पास बुलाकर कान में अपनी आखिरी इच्छा बताई थी। जी हां राजकुमार ने कहा था कि वह जब इस दुनिया से रुख्सत हों तो किसी को भी इस बारे में खबर न हो, मीडिया को तब तक इस बारे में पता न चले जब तक अंतिम संस्कार न हो जाए।
राजकुमार के घरवालों ने ऐसा ही किया था। राजकुमार के निधन के बाद उनका अंतिम संस्कार किए जाने के बाद ही इस खबर को जगजाहिर किया गया था।