स्वर्ण पदक जीतने के बाद नीरज ने पिता को किया फ़ोन, हरियाणवी में बोले- ‘लट्ठ गाड़ दिया पापा…’
टोक्यो ओलंपिक 2020 में 13 साल बाद देश को स्वर्ण पदक जिताने वाले एथिलीट नीरज चोपड़ा की तारीफ पूरा देश कर रहा है। टोक्यो ओलंपिक में देश का सम्मान बढ़ाने वाले नीरज चोपड़ा बाकी खिलाड़ियों के साथ स्वदेश पहुंचे तो एयरपोर्ट पर गजब की भीड़ देखने को मिली। इस दौरान कई लोग खिलाड़ियों के साथ सेल्फी लेने की होड़ में दिखे।
वहीं जीत हासिल करने के बाद नीरज चोपड़ा ने फ़ोन पर अपने पिता से बात की। इस दौरान नीरज चोपड़ा के पिता सतीश चोपड़ा काफी भावुक हो गए और वह नीरज से ठीक तरह से बात भी नहीं कर पा रहे थे। हालांकि कुछ देर बाद अपनी भावनाओं पर काबू कर नीरज के पिता ने उनसे पूछा कि नीरज कैसे हो?
ऐसे में नीरज को असहज महसूस हुआ क्योंकि इससे पहले उनके पिता ने इस तरह से उन से कभी बात नहीं की थी। इसके बाद नीरज ने अपने पिता से कहा पापा खुलकर बात करो जिस तरह पहले क्या करते थे आप हरियाणवी बोलो। इसे सुनकर सतीश चोपड़ा ने नीरज से हरियाणवी में बात की उसके बाद मेरा चोपड़ा ने कहा कि लट गाड़ दिया पापा। दरअसल हरियाणवी में इस मुहावरे का अर्थ है कि “मैंने अपनी छाप छोड़ दी है पापा।” नीरज चोपड़ा सोमवार को भारत लौट आए हैं।
बता दें, टोक्यो ओलंपिक में भाग लेने वाले सभी खिलाड़ियों के सम्मान में केंद्र सरकार की ओर से दिल्ली के एक होटल में सम्मान समारोह रखा गया। इस दौरान केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर, खेल राज्य मंत्री निसिथ प्रमाणिक और कानून मंत्री और पूर्व खेल मंत्री किरण रिजिजू मौजूद थे।
Glimpses from the felicitation ceremony of #Tokyo2020 Olympic Games ??Medalists in New Delhi today.
Union Minister @ianuragthakur
Union Minister @KirenRijiju
MoS @NisithPramanik pic.twitter.com/82QSqESDMg— Office of Mr. Anurag Thakur (@Anurag_Office) August 9, 2021
सम्मान के दौरान नीरज चोपड़ा ने कहा कि, “सबको धन्यवाद। यह स्वर्ण पदक केवल मेरा ही नहीं बल्कि पूरे देश का है। मुझे लगता है कि आप अपना 100% दो और सामने वाले से डरो नहीं। मेरे साथ आप सब की दुआएं थी। गोल्ड जीतने के बाद काफी अच्छा लग रहा है। मैं आगे और मेहनत करूंगा और मेहनत करके आगे अपने देश के लिए ऐसे ही मेडल जीतूंगा।
” नीरज ने आगे कहा कि, “जब से उन्हें स्वर्ण पदक मिला है, तब से वह उसको अपनी जेब में रख कर घूम रहे हैं। यह मुकाबला जीतने के बाद वह ठीक से न खा पाएं हैं और ना ही सो पाएं हैं। वह बार-बार वह अपना मेडल ही देखते रहते हैं। “
वहीं सम्मान के समारोह के दौरान केंद्रीय खेल मंत्री अनुराग ठाकुर ने वादा करते हुए कहा कि, “हम खिलाड़ियों को तैयार करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ेंगे और उन्हें हर जरूरी चीज मुहैया कराएंगे। उम्मीद है कि, पेरिस के अगले ओलंपिक में हमारे खिलाड़ियों का प्रदर्शन और भी बेहतर होगा।”
बता दें, इस ऐतिहासिक जीत को हासिल करने के लिए टोक्यो ओलंपिक 2020 में भाला फेंक मुकाबले में नीरज ने पहली बार में 87.03 जबकि दूसरी बार में 87.58 की दूरी पर भाला फेंका। तीसरी बार में उन्होंने 76.79 मीटर पर भाला फेंका लेकिन चौथी और पांचवी बार में वह फाउल हुए। इसके बाद छठी बार में उन्होंने 80 मीटर से ज्यादा दूर भाला फेंका।
इस दौरान नीरज के 87.58 मीटर के रिकॉर्ड से कोई भी खिलाड़ी आगे नहीं निकल पाया। नीरज की ऐतिहासिक जीत पर हरियाणा समेत पूरे देश को गर्व है। नीरज के गांव में भी उनके स्वागत के लिए जोरों शोरों से तैयारी की जा चुकी है। गांव का हर एक सदस्य उनके आने का इंताजर कर रहा है।