59 साल के रिश्ते ने एक साथ छोड़ी दुनिया, जानिए कैसी थी मिल्खा सिंह-निर्मल की प्रेम कहानी
भारत के महान धावक मिल्खा सिंह का शुक्रवार रात करीब 11:30 बजे निधन हो गया था. वे बीते एक माह से कोरोना वायरस से जूझ रहे थे. हालांकि आखिरकार शुक्रवार को उन्होंने दुनिया को अलविदा कह दिया. उनका चंडीगढ़ के अस्पताल में इलाज चल रहा था. उन्होंने 91 साल की उम्र मी अंतिम सांस ली थी.
मिल्खा सिंह के गुजर जाने से देश को एक बड़ा सदमा लगा है. बता दें कि, मिल्खा सिंह के निधन से पांच दिन पहले ही उनकी पत्नी निर्मल कौर का निधन भी हो गया था. मिल्खा सिंह और निर्मल कौर का साथ करीब 59 सालों का था. आइए आज आपको इस दिवंगत जोड़ी की प्रेम कहानी के बारे में बताते हैं…
बता दें कि, जहां मिल्खा सिंह महान धावक थे तो वहीं उनकी पत्नी भी स्पोर्ट्स की दुनिया से संबंध रखती थी. उनकी पत्नी निर्मल कौर भारतीय महिला वॉलीबॉल टीम की पूर्व कप्तान रह चुकी हैं. अपने योगदान के लिए उन्हें देश के चौथे सबसे ऊँचे सम्मान पद्मश्री से भी सम्मानित किया गया था.
वहीं मिल्खा सिंह की बात करें तो पूरी दुनिया में उनका नाम है. वे दुनिया के पहले ऐसे एथलीट हैं, जिन्होंने एशियन और कॉमनवेल्थ गेम में 400 मीटर रेस में गोल्ड मेडल अपने नाम किया था. वे अपने स्पोर्ट्स करियर को लेकर खूब सुर्ख़ियों में रहे हैं. हालांकि उनकी निजी ज़िंदगी के बारे में बहुत ही कम लोगों को जानकारी है. आज उनकी निजी ज़िंदगी के बारे में ही हम आपको बताने जा रहे हैं.
बताया जाता है कि, मिल्खा सिंह ने अपनी ज़िंदगी में तीन महिलाओं से प्यार किया, लेकिन उनकी शादी हुई निर्मल कौर से. दोनों साल 1955 में किसी टूर्नामेंट का हिस्सा बने थे और इस दौरान दोनों पहली बार मिले थे. बताया जाता है कि, मिल्खा सिंह, निर्मल कौर को पहली नज़र में ही अपना दिल दे बैठे थे.
दोनों ने कई घंटों तक बातचीत की और जब मिल्खा ने देखा कि आस पास कोई नहीं हैं तो उन्होंने निर्मल कौर के हाथ पर अपने होटल का रूम नंबर लिख दिया. फिर कपल की मुलाक़ात साल 1958 में हुई. हालांकि बताया जाता है कि, दोनों के अफ़ेयर की शुरुआत साल 1960 में हुई थी. दोनों ने साल 1962 में शादी कर ली थी, लेकिन दोनों के ही परिवार को दोनों का रिश्ता मंजूर नहीं था. ऐसे में दोनों की मदद उस समय पंजाब के मुख्यमंत्री रहे श्री प्रताप सिंह ने की थी.
पंजाब के तत्कालीन मुख्यमंत्री श्री प्रताप सिंह, मिल्खा सिंह और निर्मल कौर दोनों के परिवार से बात करने के लिए आगे आए थे. मिल्खा अपनी पत्नी से 9 साल बड़े थे, इसके बावजूद दोनों ने सात फेरे लिए और साथ में दोनों ने 59 साल बिताए.
निर्मल कौर ने एक साक्षात्कार में बताया था कि, ”बहुत से लोग नहीं जानते कि मैं एक हिंदू परिवार से आती हूं. मैंने मिल्खा सिंह जी को आदर्श माना और उन्होंने ही मेरे पिता मेहर चंद सैनी को मुझसे शादी करने के लिए राजी किया. मेरे पिता एक पढ़े-लिखे व्यक्ति थे और वे चाहते थे कि, मैं एक सच्चे और सीधे-सादे आदमी से शादी करूं, जो मिल्खा सिंह जी थे. भगवान की कृपा से हमने शादी के 55 साल पूरे कर लिए हैं और हर दिन हमारे लिए वैलेंटाइन डे जैसा है.”