Breaking news

घरवाले शादी को नहीं माने तो ट्रेन के आगे कूदे, परिवार की जिद की भेट चढ़ा एक और प्रेमी जोड़ा

मध्य प्रदेश के जबलपुर शहर से एक दुखद प्रेम कहानी का मामला सामने आया है। यहां लड़का लड़की ने पहले एक दूसरे को चुनरी से बांधा और फिर चलती ट्रेन के आगे खड़े हो गए। दोनों एक दूसरे से प्रेम करते थे और शादी करना चाहते थे, लेकिन परिवार वाले इसके खिलाफ थे। बस यही वजह थी कि दोनों ने साथ मरने का फैसला ले लिया।

घटना सोमवार शाम की बताई जा रही है। दोनों का घर एक दूसरे से एक किलोमीटर की दूरी पर ही है। दोनों ने बनारस से मुंबई जाने वाली ट्रेन 2168 के सामने आकर जान दी। ये ट्रेन तब कटनी की ओर जा रही थी। दोनों ट्रेन के सामने खड़े हुए जिसके चलते ट्रेन प्रेमी जोड़ी को चीरती हुई निकल गई। अगली सुबह जब स्थानीय लोगों ने ट्रैक पर शव देखें तो पुलिस को सूचित किया।

मृतकों की पहचान खितौला वार्ड नंबर एक निवासी जय चौधरी (24) और अंजलि चौधरी (19) के रूप में हुई है। अंजली के पिता पूरनलाल चौधरी ने युवक जय चौधरी के खिलाफ बेटी को भगाने का आरोप लगाते हुए खितौला थाने में शिकायत भी दर्ज की थी। पूरनलाल ने बेटी के शव की पहचान उसके कपड़ों से की। वहीं जय चौधरी के पिता शिव प्रसाद चौधरी ने भी बेटे का शव पहचान लिया।

जय पिता शिव प्रसाद और मां गीता बाई का इकलौता बेटा था। उसकी एक बड़ी बहन है जिसकी शादी हो चुकी है। उसके पिता मजदूरी का काम करते हैं। जय पल्लेदारी करता था। बेटे की मौत से मां गीता बाई बहुत दुखी है। दूसरी तरफ अंजलि चौधरी का एक बड़ा भाई पवन और एक छोटी बहन है। उनके पिता पूरन बारदाने सिलाई का काम करते थे। बेटी की मौत की खबर सुन मां शीला बाई रोते हुए बोली कि यदि पहले पता होता कि बेटी ऐसा कोई कदम उठाएगी तो उसकी शादी करवा देते।

प्रेमी जोड़े का घर घटनास्थल से महज डेढ़ किलोमीटर की दूरी पर ही है। जब पटरी पर दोनों का शव मिला तो दोनों के शरीर पर एक ही चुनरी बंधी हुई थी। जय के बाएं हाथ पर आरजे लिखा था। वहीं अंजली के हाथ पर अंग्रेजी का जे लिखा था। पुलिस ने दोनों के शव का पोस्टमार्टम करवाया और उसे अंतिम संस्कार के लिए परिजनों को सौंप दिया। दोनों का अंतिम संस्कार एक ही श्मशान घाट में किया गया।

वैसे इस पूरे मामले पर आपकी क्या राय है हमे कमेंट कर जरूर बताएं। आपके हिसाब से प्रेमी जोड़े की मौत का जिम्मेदार कौन है? वे खुद या परिवार वाले?

Back to top button