इंसानियत एक बार फिर हुई शर्मसार, बीच सड़क में शव छोड़ एंबुलेंस चालक भागा..
कोरोना काल में लोग वैसे ही परेशान है। उसके ऊपर से कई जगह मानवता को शर्मसार करने वाले मामले सामने आ रह हैँ। अब झारखंड (Jharkhand) की इस घटना को ही ले लीजिए। यहां एक एंबुलेंस चालक (Ambulance Driver) अपनी घटिया मानसिकता के चलते मृत व्यक्ति का शव सड़क पर ही छोड़ भाग गया।
बताया जा रहा है कि मजदूर छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) का रहने वाला है। वह र यूपी के नेउरी में चिमनी भट्ठा में मजदूरी करता था। इसी काम के दौरान बीते शनिवार वह ट्रैक्टर की चपेट में आ गया था जिसके चलते उसकी मौत हो गई थी।
रविवार रात को पोस्टमार्टम के बाद उसका शव उसके घर भेजा जाने वाला था। लेकिन एंबुलेंस चालक ने बीच सड़क में मृतक के शव और उसके साथ चल रहे गाँव के दो लोगों को उतार दिया। उसने उनसे कहा कि वह गाड़ी में तेल भरवाकर वापस आ रहा है। लेकिन फिर वह लौटा ही नहीं।
इंसानियत को शर्मसार कर देने वाली ये खबर स्थानीय थाना क्षेत्र में आग की तरह फैल गई। सूचना मिलते ही पुलिस घटना स्थल पर पहुंची और शव को अपने कब्जे में किया। अब पुलिस शव को उसके घर पहुंचाने की कार्यवाही कर रही है। हालांकि खबर लिखे जाने तक शव वहीं सड़क पर ही पड़ा था।
मृतक का नाम रामप्रसाद मिंज बताया जा रहा है। उसकी उम्र 25 वर्ष थी। वह छत्तीसगढ़ के आमा झरिया गांव का रहने वाला था। थाना प्रभारी वीरेंद्र हांसदा के अनुसार शव को जल्द ही उसके परिजनों तक पहुंचाया जाएगा। साथ ही आरोपी एंबुलेंस चालक पर सख्त कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल यह चालक फरार है। ऐसे में पुलिस उसकी तलाश में जुटी है।
इस पूरी घटना को लेकर सोशल मीडिया पर लोगों में गुस्सा देखा जा रहा है। सभी यही सोच रहे हैं कि क्या सच में कलयुग आ गया है? आखिर कोई व्यक्ति इतना निर्दयी और भावनाहिन कैसे हो सकता है। मृत इंसान को लेकर भी लोगों के मन में कोई भावनाएं नहीं बची है। ये काफी दुख की बात है कि आजकल इंसान बहुत ही संवेदनहिन हो गया है। वह सिर्फ अपने ही बारे में सोचता है। उसके अंदर की इंसानियत मर चुकी है।
एक एंबुलेंस चालक की जॉब बहुत ही जिम्मेदारी वाली होती है। मरीज की ज़िंदगी उसकी ड्राइविंग पर निर्भर करती है। अब जरा सोचिए यदि किसी एंबुलेंस को ऐसा संवेदनहिन व्यक्ति चलाएगा तो वह मरीज के प्रति गंभीर कैसे होगा। ऐसे व्यक्तियों को इस तरह की जॉब से निकाल देना ही बेहतर विकल्प है।