बिहार के डिप्टी CM तारकिशोर प्रसाद ने पूछा सवाल- “पंजाब के किसान ही क्यों कर रहे हैं आंदोलन?”
कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का प्रदर्शन लगातार जारी है। दिल्ली के सिंघु बॉर्डर पर किसानों द्वारा आंदोलन किया जा रहा है। काफी दिनों से किसान सिंघु बॉर्डर पर ही डटे हुए हैं और सरकार के नए कृषि कानून को वापस लेने की मांग कर रहे हैं। किसानों को खूब समझाने की कोशिश की गई परंतु कोई फायदा नहीं हुआ। सभी किसान अपनी जिद पर पूरी तरह से खड़े हुए हैं। आपको बता दें कि 8 दिसंबर को किसानों ने भारत बंद बुलाया है। इसी बीच भारतीय जनता पार्टी नेताओं की तरफ से किसान आंदोलन के खिलाफ बयान बाजी लगातार जारी है। बिहार के डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने कहा है कि किसान आंदोलन एक राजनीतिक हथकंडा बन गया है और किसानों को भरमाने का पूरा प्रयत्न हो रहा है।
बिहार के डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने कहा है कि “जो बिल भारत सरकार द्वारा लाया गया है, उसकी वजह से किसानों को किसी भी प्रकार की परेशानी नहीं होने वाली है। इस बिल से किसानों के हितों की रक्षा ही होगी। किसान और स्वतंत्र रूप से अपनी उपज को बेच सकते हैं। किसान अपने खेत में बेहतर उत्पादन कर पाएंगे।” डिप्टी सीएम तारकिशोर ने कहा कि “उन्हें कई तकनीकी सहयोग भी मिल पाएगा। इसी वजह से मुझे लग रहा है कि एक राजनीतिक हथकंडा के रूप में किसानों को बहकाने की कोशिश की जा रही है।”
इतना ही नहीं बल्कि डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने कहा है कि धीरे-धीरे मुझे लगता है कि किसान इसको जरूर समझने लगेंगे। डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने किसान आंदोलन पर यह सवाल पूछा है कि “इस योजना का सिर्फ पंजाब राज्य के द्वारा ही विरोध हो रहा है। भारत में कितने राज्य हैं? वहां भी कई प्रकार के फसल का उत्पादन है, लेकिन सिर्फ पंजाब में क्यों हो रहा है?” बिहार के डिप्टी सीएम ने आगे कहा कि “पंजाब के जो कुछ बड़े लोग हैं, जो राजनीति के शिखर में हमेशा काबीज रहे हैं, वैसे ही परिवारों के द्वारा उसे नेतृत्व दिया जा रहा है और भरमाने का कार्य किया जा रहा है।”
डिप्टी सीएम तारकिशोर प्रसाद ने यह सवाल पूछा है कि “किसानों को क्यों भ्रमित किया जा रहा है। इस कानून से कई लोगों का व्यक्तिगत स्वार्थ पूरा नहीं होने जा रहा है, जो नया कानून बनाया गया है उसके माध्यम से सीधे किसानों को फायदा होगा, इसी वजह से बिचौलिए काफी ज्यादा बेचैन हो गए हैं। बिहार के किसानों के हित की रक्षा हम सब करते भी हैं और आने वाले दिनों में भी हम करते रहेंगे।”
किसानों ने 8 दिसंबर को भारत बंद का किया ऐलान
आपको बता दें कि 8 दिसंबर को किसानों ने भारत बंद का ऐलान किया है। इसके लिए किसान संगठनों ने कमर कस ली है। पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और अन्य राज्यों के किसान संगठनों की बैठक में भारत बंद पर सहमति बनी है। आपको बता दें कि किसानों के समर्थन में भारत बंद का सपोर्ट करने के लिए सरकार के खिलाफ विभिन्न राजनीति दल भी उतर कर सामने आए हैं। शिवसेना, आम आदमी पार्टी, कांग्रेस, टीआरएस समेत कई दलों ने किसानों के भारत बंद का समर्थन किया।