शादी की रस्में चल रहीं थीं, दुल्हन ने एक फोन लगाकर रुकवा दी शादी, वजह जानकर आप भी करेंगे तारीफ
जैसा कि आप लोग जानते हैं हर चीज का एक अपना समय होता है, अगर समय पर चीज हो तो उसका नतीजा बेहतर होता है, परंतु अगर बेवक्त कोई फैसला लिया जाए तो इसका नतीजा भी आपको नकारात्मक ही मिलेगा, अगर हम शादी-विवाह जैसे रिश्ते की बात करें तो यह जीवन भर का साथ होता है, शादी जीवन का एक अहम हिस्सा माना गया है, और यह सात जन्मो तक चलने वाला रिश्ता बताया गया है, अगर व्यक्ति सही फैसला लेता है तो उसको अपने जीवन में सुखद नतीजे मिलते हैं, अब आपके मन में सवाल आ रहा होगा कि आखिर हम शादी-विवाह जैसी बातें क्यों करने लगे? दरअसल, एक ऐसा मामला सामने आया है जहां पर एक लड़की ने अपने मंडप से ही एक फोन मिला कर अपनी शादी रुकवा दी है, दुल्हन ने एक फोन लगाया और उसकी बारात टल गई।
बता दें, कि डबरा से एक ऐसा मामला सामने आया है जहां पर एक नाबालिक लड़की की शादी हो रही थी, परंतु शादी से पहले ही नाबालिग लड़की ने अपनी हिम्मत दिखाई और अपनी शादी को रुकवा दिया, डबरा के पिछोर क्षेत्र के ग्राम पंचायत गढ़ी के आदिवासी दफाई में एक नाबालिक लड़की के विवाह की सारी रस्में चल रही थी इससे पहले की नाबालिक लड़की का विवाह हो जाए ,उससे ही पहले लड़की ने बारात को अपने घर नहीं आने दिया।
नाबालिक लड़की ने हिम्मत करके रुकवाई अपनी शादी
शादी करने के लिए एक उम्र सीमा निर्धारित की गई है, परंतु जिस लड़की की शादी हो रही थी यह नाबालिक थी, इस लड़की ने अपने घर वालों को काफी समझाने की कोशिश की, बार-बार इस लड़की ने शादी करने से मना किया, लेकिन इसके घर वाले बिल्कुल भी नहीं माने, लड़की के मना करने के बावजूद भी इसके माता-पिता ने नाबालिग बेटी का रिश्ता तय कर दिया था, आपको बता दें कि मंगलवार के दिन नाबालिक लड़की का विवाह होने जा रहा था, शादी की सभी रस्में निभाई जा रही थी, लड़की के घर पर बारात आने वाली ही थी, परंतु उससे पहले ही लड़की ने अपनी हिम्मत दिखाई और उसने कलेक्टर को फोन लगाकर अपने विवाह के बारे में सूचना दी, सूचना पाते ही कलेक्टर ने नियमों के विरुद्ध हो रहे इस विवाह को गंभीरता से देखते हुए तुरंत ही एक्शन लिया और महिला बाल विकास विभाग की सुपरवाइजर को पुलिस के साथ विवाह रोकने के लिए तुरंत भेज दिया था।
पुलिस और महिला बाल विकास की सुपरवाइजर ने परिवार वालों को समझाया
जैसे ही कलेक्टर के द्वारा निर्देश दिए गए तुरंत ही पुलिस के साथ महिला बाल विकास की सुपरवाइजर शिल्पा सिंह नाबालिग के घर पहुंच गई और मामले की जांच पड़ताल आरंभ कर दी थी, पुलिस और सुपरवाइजर के द्वारा नाबालिक लड़की के सभी दस्तावेजों की जांच पड़ताल की गई, जांच पड़ताल में यह सामने आया कि जिस लड़की का विवाह होने वाला था, उसकी उम्र 16 साल 10 महीने थी, विवाह के लिए यह उम्र बहुत कम होने के कारण इस शादी को रुकवा दिया गया, पुलिस और सुपरवाइजर ने नाबालिक के माता-पिता को समझाया कि अभी आपकी लड़की की उम्र शादी लायक नहीं है, अभी आपकी लड़की नाबालिक है, काफी समझाने के बाद नाबालिक लड़की के परिवार वाले मान गए, परंतु अब कठिनाई यहां पर आ रही थी कि आखिर लड़के के घर वालों को इस बारे में कैसे सूचित किया जाए, तब बाल विकास की सुपरवाइजर शिल्पा सिंह ने दुल्हन के मंडप से ही लड़के के घर वालों को फोन मिलाया और उनको सारी जानकारी दी, सुपरवाइजर शिल्पा सिंह ने लड़के के परिजनों को समझाते हुए यह कहा कि वह लड़की के घर बारात लेकर ना आए।
वैसे देखा जाए तो नाबालिक लड़की ने सही समय पर हिम्मत दिखाते हुए जो फैसला लिया है उसकी जितनी तारीफ की जाए उतनी ही कम है, हम इसकी हिम्मत को सलाम करते हैं।