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दुखद: छत्तीसगढ़ के पूर्व सीएम अजीत जोगी का निधन, बेटे ने कहा- मैंने सिर्फ पिता नहीं खोया बल्कि

अजीत जोगी को बचाने के लिए एक अनोखे इंजेक्शन का इस्तेमाल हुआ था फिर भी उनकी जान नहीं बचाई जा सकी

एक तरफ देश में लॉकडाउन की स्थिति बनी हुई है वहीं इसी बीच छत्तीसगढ़ से एक बुरी खबर सामने आई है। छत्तीसगढ़ के पूर्व सीएम अजीत जोगी का आज  29 मई को 74 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। अजीत जोगी को 19 दिनों के अंदर तीन बार दिल के दौरे पड़ गए जिस कारण शुक्रवार को उन्होंने दम तोड़ दिया। उनका इलाज रायपुर के नारायण अस्पताल में चल रहा था जहां उनकी हालत काफी गंभीर हो चुकी थी। उनके निधन की खबर से पूरे राज्य ही नहीं बल्कि देश को दुख हुआ है। उनके बेटे अमित जोगी ने ट्विट कर पिता के निधन की जानकारी दी है।

बेटे ने ट्वीट कर दी जानकारी

अमित ने पिता की निधन की जानकारी देते हुए लिखा कि 20 वर्षीय युवा छत्तीसगढ़ राज्य के सिर से उसके पिता का साया उठ गया। केवल मैंने ही नहीं बल्कि छत्तीसगढ़ ने भी अपना पिता खोया है। माननीय अजीत जोगी जी ढाई करोड़ लोगों के अपने परिवार को छोड़ कर ईश्वर के पास चले गए। गांव-गरीब का सहारा, छत्तीसगढ़ का दुलारा, हमसे बहुत दूर चला गया। जोगी 2000 से 2003 के बीच छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री पद पर काबिज रहे थे। बता दें कि पूर्व सीएम जोगी 9 मई से कोमा में थे।इमली का बीज गले में अटकने की वजह से उन्हें पहली बार दिल का दौरा पड़ा था।

इसके बाद 27 मई को एक बार फिर उन्हें दिल का दौरा पड़ा। हालांकि अगले दिन उनकी हालत में काफी सुधार आ गया था। बताया जा रहा है कि जब शुक्रवार को उन्हें दोबारा दिल का दौरा पड़ा तो रायपुर के श्रीनारायणा अस्पताल की ओर से मेडिकल बुलेटिन जारी किया हया। इसमें ये जानकारी सामने आई कि जोगी परिवार की सहमति लेकर डॉक्टरों ने उन्हें एक खास किस्म का इंजेक्शन दिया था। इसका इस्तेमाल छत्तीसगढ़ में भी बहुत कम हुआ था। हालांकि तमाम कोशिशों के बाद भी उन्हे बचाया ना जा सका।

कार्डिएक अरेस्ट की वजह से हुआ निधन

गौरतलब है कि 9 मई की सुबह तक अजीत जोगी बिल्कुल ठीक थे। सुबह नाश्ते के वक्त वो अपने बंगले के बागीचे में बैठे थे। इस दौरान उन्होंने पेड़ से गिरे इमली को देखा। जोगी जी ने ये इमली खा ली। उसी वक्त इस इमली का बीच उनके गले में फंस गया और बीज स्वांस नली में अटक गई। इस घटना के बाद ही अजीत जोगी कोमा में चले गए। कुछ दिनों से उनके दिमाग की हलचल पता चल रही थी जिससे अंदाजा लगाया गया कि वो जल्दी ठीक हो जाएंगे। हालांकि 19 दिनों के अंद अदर तीन हार्ट अटैक लगातार आ जाने से अजीत जोगी बच नहीं पाए।

इस दुख की घड़ी में अमीत जोगी ने कहा कि वेदना की इस घड़ी में मैं निशब्द हूं। परम पिता परमेश्वर माननीय अजीत जोगी जी की आत्मा को शांति और हम सबको शक्ति दें। उनका अंतिम संस्कार उनकी जन्मभूमि गौरेल में कल होगा। बता दें कि तीन साल के कार्यकाल में अजीत जोगी ने जनता के बीच अपना दम दिखाया था। वो छत्तीसगढ़ के पहले मुख्यमंत्री थे। अपने अंतिम समय  में भी वो छत्तीसगढ़ के जनता कांग्रेस पार्टी से जुड़े हुए थे। उन्होंने खुद इस पार्टी का गठन किया था। आईएसएस की नौकरी छोड़ राजनीति में आए जोगी राज्य विधानसभा, राज्यसभा और केंद्रीय कैबिनेट के सदस्य रहे।

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