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आदमी हाथ जोड़े खड़ा है और कलेक्टर थप्पड़ चला रही है, मध्यप्रदेश में प्रशासन की गुंडागर्दी आयी सामने

जहाँ एक तरफ भारत में नागरिक संशोधन अधिनियम (CAA) का विरोध हो रहा हैं तो वहीं कई लोग इसके समर्थन में रैलियां भी निकाल रहे हैं. ऐसी ही एक CAA समर्थन रैली भाजपा कार्यकर्ता मध्यप्रदेश के राजगढ़ जिले के ब्यावरा में भी निकाल रहे थे. हालाँकि इस दौरान उस समय बखेड़ा खड़ा हो गया जब कलेक्टर निधि निवेदिता के साथ इनकी झड़प हो गई. दरअसल जब रैली में सम्मिलित भाजपा कार्यकर्ता नारेबाजी लगा रहे थे तो कलेक्टर निधि निवेदिता ब्यावरा में धारा-144 लागू होने की वजह से उन्हें रोकने का प्रयास कर रही थी. हालाँकि इस दौरान उन्होंने गुस्से में भाजपा जिला मीडिया प्रभारी रवि बड़ोने को एक जोरदार चांटा जड़ दिया. इस घटना के बाद ये पूरा मामला राजनितिक गलियारों में इस कदर फैला कि अब इस पर सियासती जंग शुरू हो गई.

ये पूरा विवाद तब शुरू हुआ जब कलेक्टर ने धरा 144 का हवाला देते हुए भाजपा कार्यकर्ताओं को रैली निकालने की इजाजत नहीं दी. इस बात से नाराज बीजेपी कार्यकर्ता नारेबाजी करने लगे. उनकी नारेबाजी से कलेक्टर साहिबा को गुस्सा आया और उन्होंने भीड़ को धक्का देना शुरू कर दिया. इस दौरान कलेक्टर ने पुलिस कर्मी का डंडा लेकर हाथ में तिरंगा पकड़े रैली की अगुवाई करने वाले राजगढ़ के पूर्व विधायक अमरसिंह यादव के साथ झड़प कर ली. उन्होंने अपनी गाड़ी रास्ते में खड़ी कर रैली रोकने की कोशिश भी की, लेकिन लोग नहीं रुके.

विवाद बढ़ता देख डिप्टी कलेक्टर प्रिया वर्मा ने कमांड संभाली और वे भीड़ में घुस लोगो को पकड़ पकड़ के पुलिस के हवाले करने लगी. हालाँकि इस दौरान भीड़ में से दो लोगो ने उनके साथ अभद्रता कर दी जिसके बाद पुलिस ने लाठीचार्ज कर दिया. इस लाठीचार्ज के दौरान भाजपा के तीन कार्यकर्ताओं को सिर में चोट आई जिसके बाद उन्हें हॉस्पिटल में भर्ती किया गया.

क्या बोले शिवराज सिंह चौहान

इस घटने के बाद मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने तीखी प्रतिक्रिया करते हुए ई ट्वीट किए. शिवराज सिंह ने लिखा कि – “राजगढ़ की घटना से मैं स्तब्ध हूँ! हाथों में तिरंगा झंडा लिये, ‘भारत माता की जय’ और ‘वंदेमातरम’ के नारे लगा रहे लोगों के साथ ऐसी बर्बरता की जायेगी, इसकी मैंने कल्पना भी नहीं की थी।” यह मध्यप्रदेश में क्या हो रहा है? #IndiaSupportsCAA


इसके बाद एक और ट्वीट आया जो इस प्रकार हैं – “कलेक्टर मैडम, आप यह बताइये कि कानून की कौन सी किताब आपने पढ़ी है जिसमें शांतिपूर्ण प्रदर्शन कर रहे नागरिकों को पीटने और घसीटने का अधिकार आपको मिला है? सरकार कान खोलकर सुने ले, मैं किसी भी कीमत पर मेरे प्रदेशवासियों के साथ इस प्रकार की हिटलरशाही बर्दाश्त नहीं करूंगा!


शिवराज सिंह यही नहीं रुके उन्होंने इस विषय पर कुछ और ट्वीट करे जो इस प्रकार हैं – “राजगढ़ का यह कृत्य कांग्रेस सरकार के ताबूत में आखिरी कील साबित होगा! इसके खिलाफ हम एक विशाल जनांदोलन खड़ा करेंगे! हम कलेक्टर के खिलाफ एफआईआर दर्ज करायेंगे और अगर एफआईआर दर्ज नहीं की गई, तो कोर्ट भी जायेंगे! #IndiaSupportsCAA.

मैं किसी भी कीमत पर इस तरह की घटना बर्दाश्त नहीं कर सकता। मैं 22 जनवरी को राजगढ़ आकर वहाँ के निरपराध लोगों के साथ प्रशासन द्वारा की गई बर्बरता के खिलाफ प्रदर्शन करूंगा। एक तरफ तो कांग्रेस सरकार के नेता मंत्री ही संसद द्वारा बनाये गये कानून के विरोध में प्रदर्शन करते हैं और अगर हज़ारों लोग इसके समर्थन में बाहर निकलें तो उन्हें पीटा जाता है! #IndiaSupportsCAA

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