महिला IAS अधिकारी सड़क पर तेजी से चलाने लगी वॉल्वो बस, जानिये क्यों करने लगी खुद ड्राइविंग
हमारे देश में पुराने समय में महिलाओं और लड़कियों को पुरुषों से कम समझा जाता था. लोगों को ऐसा लगता था की महिलाएं सिर्फ घर के काम ही कर सकती हैं. पर समय बीतने के साथ साथ लोगों की सोच भी बदलने लगी. आज के समय में महिलाएं बड़े बड़े पदों पर कार्य कर रही हैं और अपने देश का नाम रोशन कर रही. महिलाओं को कमज़ोर मानने वाले लोगों की छोटी सोच को बेंगलुरु की एक IAS अधिकारी सी. शिखा ने बस चलाकर एक बार फिर से यह साबित कर दिया की महिलाएं किसी भी मामले में पुरुषों से कमज़ोर नहीं हैं.
बेंगलुरु मेट्रोपॉलिटन ट्रांसपॉर्ट कॉर्पोरेशन (बीएमटीसी) की एमडी और महिला IAS अधिकारी ने जिनका नाम सी शिखा है मंगलवार के दिन वॉल्वो बस चलाकर सबको हैरानी में डाल दिया. बस की ड्राइविंग सीट पर बैठने के बाद शिखा को देखकर ऐसा महसूस हो रहा था जैसे वो एक बहुत ही प्रशिक्षित और जज्बे से भरपूर ड्राइवर हैं. उनकी बेहतरीन ड्राइविंग ने सभी कर्मचारियों को बहुत अधिक प्रभावित किया. वहाँ पर मौजूद सभी लोगों ने शिखा की जम कर तारीफ की. कुछ दिनों पहले ऐसा फर्स्ट टाइम हुआ है कि किसी महिला आईएएस अधिकारी ने जांच पड़ताल करने के लिए बस को खुद च लाकर देखा.
कॉर्पोरेशन के ऑफिसर्स के साथ IAS अधिकारी सी. शिखा यहां जांच पड़ताल करने के लिए आयी थीं. शिखा ने टेस्ट ट्रैक पर खुद वॉल्वो वॉल्वो बस चलाकर उसकी जांच की. पहले तो कर्मचारी थोड़ा सा डर गए पर जब उन्होंने देखा कि शिखा एक मंझे हुए और बेहतरीन ड्राइवर की तरह बस ड्राइव कर रही हैं तो वहाँ पर मौजूद सभी लोगों ने तालियां बजाकर शिखा का उत्साह बढ़ाया. इसके अलावा आईएएस अफसर शिखा के इस कदम ने कई लोगों को प्रेरणा भी दी. जिसमे विशेष रूप से कॉर्पोरेशन से जुड़ी अकेली महिला बस ड्राइवर प्रेमा रमप्पा भी शामिल थी.
प्रेमा ने बाद में बताया कि वह मैडम शिखा से बहुत प्रेरित हुई हैं. हम आपको बता दें कि बेंगलुरु में लगभग 36 लाख यात्री रोज बस में यात्रा करते हैं. इसीलिए बेंगलुरु में लगभग 6400 बसें चलती है जबकि 14 हजार ड्राइवर हैं. 2004 बैच की आईएएस शिखा को साल सितंबर 2019 में यहां के एमडी का कार्यभार दिया गया है. लगातार बहुत सारी दुर्घटनाएं होने के बाद खुद शिखा ने खुद जांच करने का फैसला किया. और कर्मचारियों के सामने ही बस चलाकर उन्हें प्रेरणा भी दी. निरीक्षण करते समय शिखा ने ड्राइवर्स से उनकी समस्याओं के बारे में भी जानकारी ली.साथ ही उन्होंने ड्राइवर्स को उनकी परेशानियां दूर करने का आश्वासन भी दिया. महिला अफसर शिखा ने कहा कि उन्हें यह बहुत अच्छे से पता है कि ड्राइवर्स को कई स्तर पर परेशानियों का सामना करना पड़ता है इसके बावजूद यात्रियों की सुरक्षा हमारी जिम्मेदारी है और हम सभी को इस जिम्मेदारी को पूरी ईमानादारी के साथ निभाना है.