‘बजट’ से जुड़ी कुछ रोचक जानकारियां जो जानना जरूरी है!
बुधवार 1 फरवरी को वित्त मंत्री अरुण जेटली ने अपना चौथा बजट पेश किया. आजादी के बाद से अब तक कई बजट पेश किए गये लेकिन भारत में बजट की कहानी 19वीं सदी के उत्तारार्द्ध से आरंभ हो जाती है. अंग्रेजों के शासन में कुछ अंग्रेजों ने भारत के लिए बजट पेश किया था. अगर गुलाम भारत में बजट की शुरूआत को देखे तो 18 फरवरी 1860 को वायसराय की परिषद में जेम्स विल्सन ने भारत का पहला बजट पेश किया था. जेम्स विल्सन को ही भारतीय बजट के संस्थापक के रूप में जाना जाता है. लेकिन उस समय के पहले हिंदुस्तानी जिन्होंने भारत के लिए पहला बजट पेश किया था वह थे लियाकत अली खान.
आइये आज आपके बताते हैं ‘बजट’ के बारे में. बजट शब्द की उत्पत्ति फ्रेंच भाषा के ‘बूजट’ से हुई बताई जाती है. ‘बूजट’ का अर्थ होता है ‘चमड़े की थैली’ इस आप बैग समझ सकते हैं. अब अगर वर्तमान समय में बजट के स्वरूप का इतिहास देखा जाए तो यह सबसे पहले 1773 में मिलता है. इस समय ब्रिटिश वित्तमंत्री रॉबर्ट वालपोल ने अपने वित्तीय प्रस्ताव को चमड़े के बैग से निकाला था और तब से ‘बजट’ शब्द का प्रयोग सरकारी लेखा-जोखा के तौर पर होने लगा.
क्या होता है ‘बजट बॉक्स’ :
इंग्लैंड के वित्त मंत्री जिस ब्रीफकेस में बजट पेश करते हैं वह लाल रंग का होता है, उसे ‘बजट बॉक्स’ कहा जाता था और आज भी यह परंपरा जारी है. इंग्लैंड के वित्त मंत्री विलियम इवर्ट ग्लैडस्टोन ने 1860 में इस परंपरा की शुरुआत की थी. बताया जाता है कि सिर्फ दो बार छोड़कर 2010 तक इसी अटैची से बजट पेश किया गया है. यह बैग काफी पुराना हो चुका है इसलिए इसे संग्रहालय में रख दिया गया और नया ब्रीफकेस तैयार किया गया है.
भारतीय बजट का इतिहास :
जैसा कि आपको पहले हमने बताया कि लियाकत अली खान भारत के लिए बजट पेश करने वाले पहले हिंदुस्तानी थे. 1946 में उस समय की अंतरिम सरकार के वित्तमंत्री लियाकत अली खां ने 9 अक्टूबर 1946 से 14 अगस्त 1947 तक का बजट पेश किया था. फिर आज़ाद भारत का पहला बजट आर के शनमुखम चेट्टी ने 26 नवंबर 1947 में पेश किया था.
संविधान में नहीं है ‘बजट’ शब्द :
एक रोचक जानकारी ये भी है कि भारतीय संविधान में बजट शब्द का उल्लेख कहीं भी नहीं किया गया है. बजट के बदले संविधान के अनुच्छेद 112 में सरकार हर साल आय-व्यय का एक लेखा-जोखा प्रस्तुत करेगी जिसमे यह उल्लेख रहेगा कि ‘सरकार आगामी वित्तीय वर्ष में किस मद में कितना व्यय करेगी साथ ही इस व्यय को पूरा करने के लिए सरकार आय कहां से प्राप्त करेगी’ इसका का उल्लेख किया गया है.