पाक से बचाई गई ‘भारत की बेटी’ उज्मा अहमद ने खोला पार्लर, बोलीं ‘मुझे अपनी बेटियों के लिए…’
विदेशी मंत्री सुषमा स्वराज ने साल 2017 में उज्मा अहमद को पाकिस्तान से बचाकर भारत की बेटी बताया था। उज्मा अहमद जब 27 साल की थी, तब उनका अपरहण करके बंदूक की नोंक पर पाकिस्तान के बुनेर गांव में ताहिर अली से जबरन निकाह करवा दिया था, जिसके बाद वे एक कैदियों की तरह ज़िंदगी जी रही थी। कैदियो की तरह ज़िंदगी बीता रही उज्मा अहमद किसी तरह पाकिस्तान स्थित भारतीय उच्चायोग पहुंचने में सफल रहीं थी, जिसके बाद उन्हें भारत लाया गया। भारत आने के बाद उज्मा अहमद काफी सदमे में रही थी, जिसके बाद अब जाकर सदमे से बाहर निकली हैं। तो चलिए जानते हैं कि हमारे इस लेख में आपके लिए क्या खास है?
पाकिस्तान से आने के बाद उज्मा अहमद करीब दो साल तक सदमे में रही। इतना ही नहीं, उज्मा अहमद ने पाकिस्तान में कई तरह के दर्द झेले थे, जिससे उबरने में उन्हें दो साल लग गया। दो साल बाद दर्द से उबरने के बाद उज्मा अहमद ने अब आगे बढ़ने की ठानी है, जिसके लिए उन्होंने पार्लर खोला है। पार्लर का उद्घाटन बुधवार को किया गया। पार्लर का नाम उज्मा अहमद की छोटी बेटी फलक के नाम पर है, जिसे वे बहुत ज्यादा प्यार करती हैं।
मुझे अपनी बेटियों के लिए आगे बढ़ना है- उज्मा अहमद
पार्लर का उद्घाटन करने के बाद उज्मा अहमद ने कहा कि मुझे अपनी बेटियों के लिए आगे बढ़ना ही था, जिसकी वजह से अब मैं अपने सारे दर्द भुलाकर आगे बढ़ रही हूं। उज्मा अहमद ने कहा कि मेरी ज़िंदगी अंधेरे में जा रही थी, जिसके बाद अब मैंने तय किया है कि अब मैं पीछे मुड़कर नहीं देखूंगी, क्योंकि मुझे अपनी बेटियों की ज़िंदगी अच्छी बनानी है और उन्हें अच्छी परवरिश देनी है, ताकि वे अपनी लाइफ में एक मुकाम पा सके।
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मौत का कुआं है पाकिस्तान
पाकिस्तान में तरह तरह की प्रताड़ना झेलने के बाद उज्मा अहमद ने बताया था कि पाकिस्तान मौत का कुआं है। उज्मा अहमद ने यह भी कहा था कि पाकिस्तान जाना आसान है, लेकिन वहां से वापस आना बेहद मुश्किल है। बता दें कि उज्मा अहमद को नशे की दवाईयां खिलाकर धोखे से बुनेर ले जाया गया था, जहां उन्हें मारने की भी कोशिश की गई थी, लेकिन किसी तरह अपनी जान बचाते हुए वे पाकिस्तान में स्थित उच्चायोग जा पहुंची, जिसकी मदद से भारत वापस आ पाई।
वहां कई लड़कियां थी- उज्मा अहमद
उज्मा अहमद ने कहा जब उन्हें बुनेर ले जाया गया, तो वहां पर उन्होंने देखा कि ढेर सारी लड़कियां थी, जोकि पता नहीं कहां कहां से आई हुई थी। उज्मा अहमद का कहना था कि बुनेर के ज्यादातर मर्द मलेशिया में रहते हैं, जोकि लड़कियों को फंसाते हैं और उन्हें फिर बुनेर लेकर जाते हैं और फिर उन्हें प्रताड़ित करते हैं। उज्मा अहमद के मुताबिक, बुनेर काफी खतरनाक इलाका है, वहां से लड़कियों का बच के निकलना काफी मुश्किल माना जाता है।