ममता को लगा सुप्रीम झटका, अब कोलकोता मैं नहीं शिलॉन्ग में राजीव कुमार से पूछताछ करेगी CBI
न्यूज़ट्रेंड वेब डेस्क: कोलकाता में काफी लंबे समय से चले आ रहे शारदा चिट फंड मामले में अब एक नया मोड़ आ गया है। बता दें कि जिस अधिकारी पर इस केस से जुड़े इलेक्ट्रानिक सबूत मिटाने का इल्जाम है। सीबीआई की ओर से दायर की गई याचिकाओं पर आज सुबह यानि 5 फरवरी की सुबह से सुनवाई शुरू हुई। सीबीआई ने अपनी दायर की गई याचिका में कोलकाता पुलिस कमिश्नर राजीव कुमार के ख़िलाफ़ इलेक्ट्रॉनिक रिकॉर्ड नष्ट करने की बात कही। सीबीआई ने आरोप लगाते हुए कहा कि पहले राजीव कुनार एसआईटी में थे जहां पर उन्होंने आरोपी के साथ मिलकर सबूतों को नष्ट किया। अटॉर्नी जनरल ने सुप्रीम कोर्ट को बताया कि आईपीएस अधिकारी राजीव कुमार (जिन्होंने अप्रैल, 2013 और मई 2014 के बीच चिट फंड घोटाले की जांच के लिए एसआईटी का नेतृत्व किया) ने पूरी सामग्री सीबीआई को नहीं सौंपी थी।
इसके बाद सीबीआई ने कोर्ट में आगे कहा, ‘ वास्तव में, आरोपियों के कॉल डिटेल रिकॉर्ड को दर्ज किया गया था. लेकिन राजीव कुमार ने सीबीआई को सैद्धांतिक रूप से कॉल रिकॉर्ड सौंपे हैं. कौन था, किसने बुलाया, इस पर जानकारी मिटा दी गई. सुदीप्तो सेन के सेल फोन को वापस सौंप दिया गया था.’
सुप्रीम कोर्ट का फैसला
इन पूरी बातों को सुनने के बाद सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश ने कहा कि पुलिस कमिश्नर इस मामले की जांच में सीबीआई का सहयोग करें। उन्होंने कहा कि देखना पड़ेगा कि मामले में क्या सबूत है? सीजेआई ने कहा, ‘पुलिस कमिश्नर सीबीआई के सामने पेश हों. लेकिन गिरफ्तारी और कार्रवाई ना हों.’ वहीं सीजेआई ने कहा है कि राजीव कुमार से पूछताछ शिंलांग में की जाए। इसके साथ ही कोर्ट ने कोलकाता में सीबीआई अधिकारियों के साथ हुए बर्ताव औऱ सुप्रीम कोर्ट के फैसले की अवमानना के मामले में पश्चिम बंगाल के मुख्य सचिव और डीजीपी और पुलिस कमिश्नर राजीव कुमार को नोटिस भेजा है, और इस मामले की अगली सुनवाई 20 फरवरी को होगी।
बता दें कि अब तक सीबीआई राजीव कुमार से दिल्ली औऱ कोलकाता में पूछताछ कर रही थी लेकिन अब कोर्ट ने उन्हें शिलांग में पूछताछ करने को कहा हैं। बता दें कि ये फैसला सुप्रीम कोर्ट के तीन जजों की बेंच ने किया है इस बेंच में सीजेआई रंजन गोगोई, जस्टिस दीपक गुप्ता, जस्टिस खन्ना शामिल हैं।
CBI की ओर से दायर की गई अवमानना याचिका में कहा गया..
सीबीआई ने बंगाल के चीफ सेक्रेटरी, डीजीपी और कोलकाता पुलिस कमिश्नर के खिलाफ दायर याचिका में कहा है कि कोलकाता में जब वो जांच करने गए तब वहां के अधिकारियों ने जानबूझकर शीर्ष अदालत के आदेश की अवहेलना की है। वहीं सीबीआई की पूछताछ पर रविवार रात से वहां की मुख्यमंत्री धरने पर बैठी हैं। ममता बनर्जी ने कहा कि मैं जान देने के लिए तैयार हूं लेकिन समझौता नहीं करूंगी। बता दें कि धरने के बीच ही ममता ने पुलिसवालों को सम्मानित किया और उस वक्त उनके साथ पुलिस कमिश्नर राजीव कुमार साथ खड़े थे।
बता दें कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने घोषणा की है कि चिटफंड घोटाला मामलों में कोलकाता के पुलिस प्रमुख से पूछताछ की सीबीआई की कोशिश के खिलाफ उनका यह धरना प्रदर्शन शुक्रवार तक जारी रहेगा। ममता बनर्जी रविवार रात से ही एस्प्लानेड क्षेत्र में मेट्रो चैनल में धरने पर बैठी हैं। उन्होंने कहा, “यह प्रदर्शन शुक्रवार तक चलेगा. चूंकि बोर्ड परीक्षाएं शीघ्र ही शुरू हो रही हैं, अतएव हम लाउडस्पीकर नहीं बजाएंगे ताकि छात्र परेशान न हों.”
ममता हैं खुश
वहीं सुप्रीम कोर्ट द्वारा आए इस फैसले को ममता ने अपनी जीत बताया है, दीदी ने कहा, ‘मैं राजीव कुमार के लिए नहीं पूरे देश के लिए लड़ी हूं. ये जीत मुझे नहीं देश संविधान और मीडिया को मिली हैं। ममता ने कहा कि राजीव कुमार ने कभी नहीं कहां कि वह जांच में सहयोग नहीं करेंगे। लेकिन आज देश के हर तबके को तंग किया जा रहा है.’ ममता बनर्जी ने कहा कि राजीव कुमार ने कभी नहीं कहा कि वो जांच में सहयोग नही करेंगे, उन्होंने कहा कि केंद्रीय जांच एजेंसियों को बिना बातचीत के राज्य में नहीं आना चाहिए।