इस फिल्म को मना करने का मलाल काजोल को ताउम्र रहेगा
बॉलीवुड में काजोल किसी पहचान की मोहताज नहीं हैं।काजोल ने बॉलीवुड को कई ऐसी फिल्में दी हैं जो आज के दशक में भी अपना असर बनाए हुए हैं।काजोल ने फिल्मों में कई ऐसे रोल किए हैं जिन्हें देखकर यही लगता है कि ये रोल सिर्फ काजोल के लिए ही बना था, फिर चाहे वो दिल वाले दुल्हनियां की सिमरन हों या दुश्मन फिल्म की सोनिया, काजोल ने हर एक रोल को इतना बखूबी निभाया है कि उन किरदारों ने ना सिर्फ बॉलीवुड में उनके करियर को एक नया मुकाम दिया साथ ही उनके करियर को बुलंदियों तक भी पहुंचाया।
लेकिन काजोल ने अपने करियर और फिल्मों के चुनाव नें कई ऐसी गलतियां भी की है जिसके बाद शायद आज काजोल सोचतीं होंगी की उनकों अपने करियर में ये गलतियां नहीं करनी चाहिए थी।काजोल ने कई ऐसी फिल्मों को ठुकराया जिन्होंने बॉक्स ऑफिस में ना सिर्फ कई रिर्काड बनाए बल्कि उसमें काम करने वाले कलाकारों को भी एक ऊचे पायदान पर पहुंचा दिया।
काजोल ने सबसे पहली गलती की थी फिल्म ‘बाबुल’ को रिजेक्ट करके,ये वही फिल्म थी जिसको रवि चोपड़ा ने बीआर चोपड़ा के फिल्म जगत में 50 साल पूरे होने की खुशी में बनाया था। इस फिल्म में बॉलीवुड के कई दिग्गजों ने काम किया थी जिसमें अमिताभ बच्चन, हेमा मालिनी, सलमान खान और जॉन अब्राहम जैसे सितारों नें काम किया थी इसी फिल्म में एक किरदार था मालविका तलवार का जो कि फिल्म में एक अहम रोल था।बता दें कि इस रोल के लिए रवि चोपड़ा ने पहले काजोल को ही अप्रोच किया था और वो चाहते थे कि इस फिल्म में काजोल इस किरदार को निभाएं।फिल्म में मालविका, सलमान खान की विधवा थी।लेकिन काजोल ने इस फिल्म में काम करने से मना कर दिया था।
काजोल के मना करने के बाद रवि चोपड़ा ने इस किरदार के लिए रानी को अप्रोच किया था और रानी ने ज्यादा वक्त ना लेते हुए इस रोल के लिए तुरंत हामी भर दी।ये फिल्म बॉक्स ऑफिस पर कुछ खासा कमाल नहीं कर पाई थी लेकिन फिल्म के इस रोल ने रानी की किस्मत के सितारे जरूर चमका दिए। इस फिल्म के बाद रानी ने ‘युवा’ और ‘हम तुम’ में बेहतरीन अदाकारी का नमूना पेश किया और इन दोनों फिल्मों के लिए रानी को ‘फिल्मफेयर बेस्ट एक्ट्रेस’ और ‘बेस्ट सपोर्टिंग एक्ट्रेस 2005’ का अवॉर्ड भी मिला।
बता दें कि सलमान और काजोल ने इसके पहले भी साथ में काम कर चुके थे।इससे पहले सलमान और काजोल फिल्म ‘प्यार किया तो डरना क्या’ के जरिए बड़े पर्दे पर धमाल मचा चुके थे। ऐसे में यह जोड़ी दोबारा पर्दे पर अपना जादू चला सकती थी, पर ऐसा हो नहीं सका। शायद किस्मत को कुछ और ही मंजूर था, और इस फिल्म के जरिए रानी मुर्खजी अपने करियर के ग्राफ में काफी ऊपर पहुंच गई।