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एक नोट को छापने में सरकार को खर्च करनी पड़ती है इतनी रकम, जानिए ये अहम खबर

ऐसा कहा जाता है कि पैसा सबकुछ नहीं होता लेकिन अहर व्यक्ति के पास पैसा ना हो तो वो कुछ भी नहीं होता. ये बात काफी हद तक सच भी है, पैसा हर इंसान की जरूरत है, इसके बिना व्यक्ति एक कदम भी नहीं चल सकता. हालांकि कुछ लोग कम पैसों मे भी गुजारा कर लेते हैं तो कुछ लोग पैसों के लिए गलत काम करने पर मजबूर हो जाते हैं. नोट बंदी के बाद से ही लगातार नये नोट आते चले जा रहे, और सरकार पर विपक्षों के हमले भी हो रहे हैं. पिछले कुछ दिनों में रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया द्वारा जारी की गई रिपोर्ट के मुताबिक, जो भी आंकडे सामने आए उन्होंने सरकार पर प्रश्न चिंह लगाया है. इस रिपोर्ट के अनुसार नोट बंदी के बाद लगभग 99 प्रतिशत नो बैंकों में वापस जमा हो गए हैं.

जिसके आने के बाद ही विफक्ष ने उन्हें घेरना शुरु कर दिया है और बताया कि सरकार का काले धन पर लगाम लगाने का ये तरीका फेल हुआ और इसमें सिर्फ आम जनता ही परेशान रही है. मगर सच ये है कि नये नोट आने से जाली नोट बनने की प्रक्रिया बहुत कम हो गई है. एक नोट को छापने में सरकार को खर्च करनी पड़ती है इतनी रकम, ये बात भारत के हर नागरिक को जरूर जाननी चाहिए.

एक नोट को छापने में सरकार को खर्च करनी पड़ती है इतनी रकम

आजकल सोशल मीडिया पर पर एक बात वायरल हो रही है कि सरकार द्वारा जारी किये गए नोट भी पहले से बहुत महंगे हो रहे हैं. इसकी वजह से अर्थ व्यवस्था पर ज्यादा दबाव पड़ रहा है. अब ये बात पूरी तरह से तो सच नहीं है और इसलिए आज हम आपको नोटों की छपाई में सरकार को हर नए नोट पर कितना खर्च उठाना पड़ता है इस बारे में बताने जा रहे हैं.

1. 10 रुपये का नोट

10 रुपये का एक नया नोट छापने का खर्च 1.01 रुपये आता है. अगर इसे 1000 छापे जाएं तो ये कुल 1010 रुपये के खर्च में बनेगा.

2. 50 रुपये का नोट

50 रुपये का एक नया नोट छापने का खर्च 1.01 रुपये आता है. अगर इसे 1000 छापे जाएं तो ये कुल 1010 रुपये के खर्च में बनेगा.

3. 100 रुपये का नोट

100 रुपये का एक नया नोट छापने का खर्च 1.51 रुपये आता है. अगर इसे 1000 छापे जाएं तो ये कुल 1510 रुपये के खर्च में बनेगा.

4. 500 रुपये का नोट

500 रुपये का एक नया नोट छापने का खर्च 2.57 रुपये आता है. अगर इसे 1000 छापे जाएं तो ये कुल 2570 रुपये के खर्च में बनेगा.

5. 2000 रुपये का नोट

2000 रुपये का एक नया नोट छापने का खर्च 4.18 रुपये आता है. अगर इसे 1000 छापे जाएं तो ये कुल 4180 रुपये के खर्च में बनेगा.

पुराने 500 और हजारे के नोट का खर्च

9 नवंबर, 2016 की रात प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देश के हित में ऐतिहासिक फैसला लिया था. उन्होंने पुराने 1000 और 500 के नोट बंद करवा दिये, जिसके लिए लोगों को कुछ मोहलत तो दी गई लेकिन जिसके पास करोड़ों में काला धन था उनके लिए बहुत मुश्किलें आईं. इस फैसले को बहुत से लोग बुरा तो कुछ लोग अच्छा कह रहे थे. पुराने 500 के नोट अगर 1000 छापे जाते तो उसमें 3090 रुपये का खर्च आता था यानी एक नोट की कीमत लगभग 3.09 रुपये पड़ती थी. दूसरी ओर 1000 रुपये के पुराने अगर 1000 छापे जाते तो उसकी कीमत 3.54 रुपये के खर्चे में बनते थे. मगर अब बताया जा रहा है कि पुराने नोट के मुकाबले नये नोट बनाने की प्रक्रिया बहुत अलग है और इसे छापना बहुत ही ज्यादा मुश्किल का काम है और ये सही भी है.

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