मोदी के हाई स्पीड ट्रेन की योजना लाने को लेकर चीन और जापान में मची मारा- मारी!
मोदी के हाई स्पीड ट्रेन की योजना लाने को लेकर चीन और जापान में मची मारा- मारी!: मोदी सरकार ने देश को बुलेट ट्रेन देने का वादा किया था। इस वादे पर अमल करते हुए सरकार ने इस दिशा में काम करना भी शुरु कर दिया है। सरकार ने देश की पहली बुलेट ट्रेन चलाने के लिए मुंबई- अहमदाबाद रुट चुना है। इस रुट पर बुलेट ट्रेन चलाने के लिए सरकार ने जापान को अपने साझेदार के रुप में चुना है। इस परियोजना की अनुमानित लागत 980 अरब रुपये है।
प्रधानमंत्री मोदी फिलहाल जापान दौरे पर हैं
प्रधानमंत्री मोदी फिलहाल जापान दौरे पर हैं। इस दौरान प्रधानमंत्री मोदी जापान के प्रधानमंत्री शिंजो अबे से मुलाकात की। अबे को उम्मीद है कि भारत बुलेट ट्रेन की अपनी प्रस्तावित योजनाओं पर काम आगे बढ़ाता है, तो जापान भारत से सहयोग के मामले में चीन को पीछे छोड़ देगा।
टेंपल यूनिवर्सिटी के डायरेक्टर ऑफ एशियन स्टडीज जेफ किंग्सटन के मुताबिक, चीन और जापान इस क्षेत्र में एक दूसरे से आगे निकलने की होड़ में लगे हुए हैं। एशिया में वर्चस्व उनके लिए अपने सामान बेचने और फायदा कमाने से ज्यादा अहमियत रखते हैं। उन्होंने बताया कि यह देखना होगा कि मोदी इस मौके का फायदा कैसे उठाते हैं या नहीं। क्योंकि उनकी सरकार का झुकाव चीन की बजाय अमेरिका और जापान की तरफ ज्यादा दिख रहा है।
जापान और चीन को बुलेट ट्रेन तकनीकी में अग्रणी माना जाता है। ऐसे में दोनों देशों के बीच ऐसे रेल कॉन्ट्रेक्ट हासिल करने के लिए होड़ लगी रहती है। पिछले साल इंडोनेशिया में ऐसे ही रेल प्रोजेक्ट को हासिल करने में चीन ने जापान को पछाड़ा था। वहीं सिंगापुर- कुआलालंपुर के बीच चलने वाली बुलेट ट्रेन की ठेके को हासिल करने के लिए दोनों देशों के बीच कड़ी प्रतिस्पर्धा लगी हुई है।
थाईलैंड और वियतनाम में क्रमशः चीन और जापान के सहयोग से बनने वाली परियोजनाएं रद्द हो गई थी। जबकि ताइवान की एक ऐसी ही महत्वकांकी परियोजना आर्थिकसंकट के चलते बंद करनी पड़ी थी।