चीनी मीडिया – भारतीय मार्केट से दूरी चीन के लिए नुकसानदेह, बहिष्कार पर भारत को दी ये धमकी
बीजिंग/नई दिल्लीः चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स के अनुसार भारत के विनिर्माण क्षेत्र की तेज रफ्तार से निवेशक मोटा मुनाफा कमा सकते हैं और वहां से दूर रहना निश्चित रुप से एक अविवेकपूर्ण फैसला होगा। सरकारी मीडिया चीन का मानना है कि भारत में निवेश करने वाली चीन की कंपनियों में उत्सुकता को कुछ अधिक बढ़ा चढ़ाकर बताया जा रहा है। Boycott Chinese goods.
भारत में चीनी सामान खरीदने की मांग में हुई जबर्दस्त गिरावट –
सोशल मीडिया पर चीनी सामान के बहिष्कार के अभियान की तीव्रता और उसके कारण पैदा हुआ देशभक्ति का माहौल इसके पीछे वजह है। दीपावली की खरीददारी के माहौल में भारत में बनी लाइट्स, मुर्तियों आदि की मांग बढ़ने लगी हैं। इस कारण इस वर्ष खुदरा व्यापारियों द्वारा इम्पोर्टर्स और थोक व्यापारियों से चीनी सामान खरीदने की मांग गत वर्ष की तुलना में लगभग 45 प्रतिशत घटी है।
चीनी सामानों के बहिष्कार पर चीन ने दी नसीहत –
भारत में दीवाली पर चीनी सामान के बहिष्कार के लिए किए जा रहे आह्वान के बीच चीन ने कहा है कि इससे चीन की इकाइयों का भारत में निवेश और दोनों देशों के बीच आपसी सहयोग प्रभावित हो सकता है। नई दिल्ली में चीन के दूतावास की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि इस तरह के किसी बहिष्कार का उसके देश के निर्यात पर कोई खास असर नहीं पड़ेगा, उल्टा इसका सबसे ज्यादा नुकसान भारत के व्यापारियों और ग्राहकों का होगा क्योंकि उनके पास कोई समुचित विकल्प नहीं है।
चीन ने कहा है कि वह दुनिया का सबसे बड़ा व्यापारिक देश है और 2015 में उसका निर्यात 2276.5 अरब डॉलर के बराबर था और भारत को किया गया निर्यात इसका मात्र दो प्रतिशत था। गौरतलब है कि भारत सरकार की ओर से आधिकारिक तौर पर ऐसे किसी बहिष्कार की बात नहीं है।
भारत – चीन व्यापार से दोनों देशों को फायदा –
ग्लोबल टाइम्स में प्रकाशित इस लेख में कहा गया है कि भारत के विनिर्माण क्षेत्र की तीव्र वृद्धि में अभी चीन की पूंजी का मामूली योगदान है। साथ ही, लेख में यह भी कहा गया है कि भविष्य में भारतीय बाजार मोटा मुनाफा कमाएगा, जो सभी पक्षों के लिए लाभ की स्थिति होगी।
‘दूसरे शब्दों में कहा जाए तो चीन के पास भारत के विनिर्माण विकास को सीमित करने की क्षमता नहीं है। चीन सिर्फ चाइनीज निवेश को भारत के वृद्धि परिदृश्य में शामिल होने से रोक सकता है, जो कि एक अविवेकपूर्ण विकल्प होगा।’
भारत में हो रहा चीनी सामानों का जबर्जस्त विरोध –
खुदरा व्यापारियों के संगठन कैट (कॉन्फिडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स) ने हाल में कहा था कि दीवाली पर चीनी वस्तुओं के आयात में इस साल 30 प्रतिशत तक गिरावट आ सकती है। भारत-पाकिस्तान के बीच मौजूदा तनाव और इसमें चीन के पाकिस्तान की तरफ झुकाव के बीच भारत में विभिन्न हलकों से चीनी सामान के बहिष्कार की बात उठी है। चीन अपनी सस्ती वस्तुओं के साथ विश्व बाजार में बड़ा स्थान बना चुका है।