31 मार्च से पहले निपटा लें ये 4 काम, वरना हो सकता है पैसों का नुकसान
सुप्रीम कोर्ट ने आधार की आनिवार्यता के लिए डेडलाइन को अनिश्चित समय के लिए बढ़ा दिया है. इससे लोगों को आधार लिंक करने के लिए समय मिल गया है, पर इसके अलावा और भी कई काम हैं, जो 31 मार्च से पहले निपटाने जरूरी हैं.. दरअसल वित्त वर्ष 2017-18 31 मार्च को समाप्त होने जा रहा है.. ऐसे में 31 मार्च से पहले आर्थिक कामों का निपटारा जरूरी है। आज हम आपको इसी विषय में बताने जा रहे हैं।
पीपीएफ में निवेश:
अगर आपका पीपीएफ यानी पब्लिक प्रोविडेंट फंड खाता है, तो इसमें आपको एक तय राशि हर साल जमा करनी होती है और अगर ये राशि 31 मार्च से पहले जमा नहीं करते हैं, तो आप पर 50 रुपये का जुर्माना लग सकता है। असल में पीपीएफ में आपको हर साल कम से कम 500 रुपये जमा करने होते हैं और अगर आप ऐसा नहीं करते हैं, तो इसके लिए आपको पेनल्टी देनी पड़ेगी। आपने भी अगर ये न्यूनतम राशि अपने खाते में अभी तक जमा नहीं किए हैं, तो पेनल्टी से बचने के लिए 31 मार्च से पहले जरूर कर लें ।
सुकन्या समृद्धि योजना:
सुकन्या समृद्धि योजना में भी पीपीएफ की तरह ही एक साल में कम से कम 1000 रुपये जमा करवाने जरूरी हैं.. ऐसे में 31 मार्च तक 2017-18 वित्त वर्ष समाप्त होने से पहले ये यह रकम जमा करनी होगी। ऐसा न करने पर भी 50 रुपये की पेनल्टी देनी पड़ सकती है।
नेशनल पेंशन सिस्टम:
टैक्स छूट से फायदा दिलाने में नेशनल पेंशन सिस्टम बेहतर विकल्प बन चुका है .. पर आपको पता होना चाहिए कि NPS पर भी यह 31 मार्च वाली शर्त लागू होती है जहां इस खाते में 31 मार्च से पहले साल का 6 हजार रुपये जमा होना जरूरी है। ऐसा न करने पर आपको 100 रुपये की पेनल्टी देनी पड़ेगी।
आयकर रिटर्न
सबसे जरूरी 31 मार्च से पहले आयकर रिटर्न भरना है.. अगर आपकी आय टैक्स के दायरे में आती है, तो आपको 31 मार्च से पहले आयकर रिटर्न भरना बेहद जरूरी है। ऐसा ना करने पर आपको टीसीएस रिफंड समेत कई काम निपटाने में दिक्कत पेश आएगी.. साथ ही अगर आप 31 मार्च तक आयकर रिटर्न नहीं भरते हैं, तो आपको बिलेटेड रिटर्न भरना पड़ेगा. इसलिए किसी भी तरह की पेनाल्टी और बिलेटेड रिटर्न भरने की दिक्कत से बचने के लिए जरूरी है कि आप 31 मार्च से पहले रिर्टन भर दें।
तो ये सारे काम 31 मार्च से पहले ये निपटाने जरूरी हैं और अगर आप ऐसा नहीं करते हैं, तो आपको इसके लिए पेनल्टी भरनी पड़ेगी जो कि आपकी जेब पर भारी पड़ सकता है।