रात में ट्रेन से सफर करते हैं तो ये खबर पढ़नी बहुत जरूरी है आपके लिए…
ट्रेन में सफर तो लगभग सभी लोग करते है, ट्रेन में सफर करने का अपना अलग ही मजा होता है। दिन में ही नहीं बहुत से लोग रात को भी ट्रेन में यात्रा करते हैं। अगर आपको भी रात्रि के समय ट्रेन में सफर करना पड़ता है तो ये खबर आपको खुश कर देंगी। अब आप सोच रहे होंगे कि आखिर हुआ क्या है, तो आईये बिना देर किए आपको बताते हैं। दरअसल रेलवे मंत्री पीयूष गोयल ने रात में चलने वाली ट्रेनों की स्पीड बढ़ाने की तैयारी करने को कहा है। जिस से यात्रा करने वाले लोगों को काफी लाभ मिलेगा। ट्रेन की स्पीड में बढ़ोतरी करने से आपका सफर आसान हो जाएगा और आपका काफी समय बचेगा।
इन दिनों रेलवे ओवरनाइट इंटरसिटी ट्रेवल के लिए हाईस्पीड कॉरिडोर तैयार करने की तैयारी कर रहा है। जिस से ट्रेनों को काफी रफ्तार मिलेगी, नए कॉरीडोर पर यह ट्रेनें 200 से 250 किलोमीटर प्रति घंटा की स्पीड से दौड़ेंगी। खबरों के मुताबिक रेलवे मंत्री पीयूष गोयल ने रेलवे बोर्ड को हाईस्पीड कॉरिडोर्स को पहचानने का काम दिया है और साथ ही यह भी कहा है कि इस पर आने वाले खर्च को भी आधा किया जाना चाहिए। फिलहाल हाई स्पीड कॉरिडोर बनाने के लिए प्रति किलोमीटर 100 करोड़ रुपये का खर्च आता है, रेलवे की कोशिश है कि इसे घटाकर आधे से कम पर लाया जाए।
सूत्रों की मानें तो रेलवे मंत्री पीयूष गोयल इस साल अप्रैल में ऐसे 10 हजार किलोमीटर नए हाई स्पीड कॉरिडोर की घोषणा कर सकते हैं। जिन पर 200-250 kmph घंटे की रफ्तार से ट्रेनें दौड़ सकेंगी। इसके पीछे उनका सबसे बड़ा मकसद यात्रा के दौरान लगने वाले समय को कम करना है ताकि यात्रियों को सुविधा हो सके। एक अधिकारी के अनुसार इस समय मुंबई और पुणे के बीच चलने वाली इंटरसिटी ट्रेन तीन घंटे का समय लेती है, और अब वह इस समय को कम करके एक या डेढ़ घंटे तक करना चाहते हैं। अगर ऐसा होता है तो इस बात में कोई शक नहीं है कि लोग यात्रा करने के लिए इन्हीं हाई-स्पीड ट्रेनों को चुनेंगे।
रेलवे मंत्रालय ट्रेन के सफर को आरामदायक और सुविधाजनक बनाने का निरंतर प्रयास कर रहा है। अभी कुछ दिन पहले रेलवे मंत्रालय ने ट्रेनों में टिकट चेकिंग के नियमों में भी बदलाव करने करने के संकेत दिए थे। खबर है कि अब आरक्षित टिकट को रात 10 बजे से लेकर 6 बजे तक चेक नहीं किया जाएगा। रेल मंत्रालय ने इस बारे में एक सर्कुलर जारी करके आदेश दिया है। लेकिन इस आदेश का यह मतलब बिल्कुल नहीं है कि आरक्षित डिब्बे में कोई बिना टिकट यात्री सफर करता रहे और उसका टिकट नहीं चेक किया जाए। बदले गए नियम में भी कुछ शर्तें लागू की गई है जिसके तहत अगर टीटीई को अगर लगता हैं कि कोई व्यक्ति बिना टिकट यात्रा कर रहा है तो उसकी टिकट रात को भी चेक कर सकता हैं। आदेश के मुताबिक आरक्षित श्रेणी के रेल यात्रियों के टिकट को यात्रा की शुरुआत में ही चेक कर लिया जाना चाहिए। जिन यात्रियों का टिकट पहले ही देखा जा चुका होगा उन से दुबारा टिकट नहीं मांगा जाएगा।