होने वाला बच्चा स्मार्ट हो इसके लिए मां को करना होगा ऐसे चीजों का सेवन
अगर चाहते हैं कि बच्चा आगे जाकर स्मार्ट और बुद्धीमान हो तो इसके लिए बाद में प्रयास करने की बजाए गर्भावस्था के दौरान ही मां के खानपान पर ध्यान देना होगा.. दरअसल ये सलाह कोई आम सलाह नहीं बल्कि ये हाल ही में हुए स्वास्थ्य शोध का निष्कर्ष है जिसके अनुसार बच्चा तेज और उच्च आईक्यू वाला हो तो इसके लिए गर्भावस्था के दौरान सही मात्रा में विटामिन की खुराक लेनी चाहिए। इससे गर्भस्थ बच्चे का मानसिक विकास सही ढ़ंग से हो पाता है और आगे जाकर उसके स्मृति और सीखने की क्षमता बढ़ जाती है ।
मां बनने की प्राकृतिक साइकल के दौरान गर्भवती स्त्री को विशेष तौर पर पोषक तत्वों की जरूरत होती ही है। क्योंकि होने वाले बच्चे की सेहत पूरी तरह मां के खानपान पर ही निर्भर करती है .. ऐसे में डॉक्टर से लेकर सभी लोग गर्भवती स्त्री को अच्छे खान-पान की सलाह देते हैं ताकि मां के शरीर में पोषक तत्वों की पूर्ति हो सके है। इसीलिए डॉक्टर गर्भवती स्त्रियों को विटामिन्स और दूसरे पोषक तत्वों के सप्लीमेंट्स लिखते हैं। वैसे गर्भाव्स्था के दौरान मिले पोषण को अब तक बच्चे के शारीरिक विकास से ही जोड़ कर देखा जाता रहा है लेकिन हाल ही में हुए शोध की माने तो इससे बच्चे के मानसिक विकास पर भी सकारात्मक प्रभाव पड़ता है।
दरअसल इंडोनेशिया में हुए रिसर्च में शोधकर्ताओं ने करीब तीन हजार ऐसे स्कूली बच्चों का परीक्षण किया, जिनकी माताओं ने अपने गर्भावस्था के दौरान मल्टीपल माइक्रोन्यूट्रिएंट्स और ऑयरन फोलिक एसिड का प्रर्याप्त सेवन किया था। ऐसे में रिर्सच के निष्कर्ष के रूप में ये पाया गया कि गर्भावस्था के दौरान विटामिन की सही खुराक लेने से शिशु के मष्तिष्क के विकास सही होता है। साथ ही ये विटामिन्स शिशु के लिए लंबे समय तक लाभकारी सिद्ध हो सकती है। ऐसे में इससे प्रक्रियात्मक स्मृति बेहतर हो सकती है। जिसका सीधा जुड़ाव नई चीजों को सीखने और विवेकक्षमता से होता है।
ऐसे में गर्भवती महिलाओं को जरूरी सप्लीमेंट्स के अलावा भी अपने खानपान पर विशेष ध्यान देना चाहिए इसके लिए दूध, सूखे फल मेवे और अंडे जैसे पौष्टिक चीजें आपने भोजन में शामिल करनी चाहिए । ऐसे में अंडे का सेवन भी गर्भावस्था के दौरान बेहद फायदेमंद होता है । दरअसल अंडा प्रोटीन का अच्छा सोर्स तो है ही .. इसके अलावा अंडे में 12 विटामिनों का पैकेज होता है और साथ ही कई तरह के लवण भी होते हैं। ऐसे में इसके सेवन से शिशु को मानसिक बीमारियां होने का खतरा काफी कम हो जाता है और उसका दिमागी विकास सही तरीके से होता है। इस तरह अगर इसे गर्भवती महिला नियमित रूप से अपनी डाइट में शामिल करें तो बच्चा स्मार्ट होता है।
वहीं एक शोध के मुताबिक अंडा हमारे शरीरिक जरूरतों को पूरी करने लिए सबसे अच्छा फूड है और यूरोपियन फूड सेफ्टी अथोरिटी के अनुसार अंडे में पाया जाने वाला कोलीन एक ऐसा पोषक तत्व है जिसे अगर गर्भवती महिलाएं इसे अपनी डाइट में लें तो बच्चे का दिमाग, स्पाइनल कॉड और सीखने की क्षमता पर बेहद सकारात्मक प्रभाव पड़ता है और ऐसे में प्रेग्नेंसी के दौरान दूसरे महीने से ही कोलीन का सेवन शुरू कर दिया जाए तो बच्चे की याद्दाशत और सीखने की क्षमता बढ़ती है।